पेईचिंग विश्वविधालय में चीनी भाषा का अध्ययन कर रहीं है एक भारतीय छात्रा ने बताया कि खान-पान में चीन के लोग हर तरह का खाना खाते हैं। यहां पर ज्यादातर लोग मांसाहारी हैं। मांसाहार के अलावा यहां पर शाकाहारी खाने में भी भारत से ज्यादा व्यंजन खाए जाते हैं। अगर साग की बात की जाए तो उसकी संख्या भी भारत के मुकाबले काफी ज्यादा है। एक बात यहां कहना महत्वपूर्ण होगा कि जैसे हमारे यहां अगर कोई चीज़ नहीं खाई जाती है तो उसे फ़ेंक देते है, पर चीन में ऐसा नहीं है। यहां खाने-पीने की कोई भी वस्तु फेंकी नहीं जाती है। यहां तक कि सूरजमुखी के बीज, कद्दू के बीज समेत कई तरह के बीजों को नमक वाले पानी में भिगाने के बाद भूनकर छीलने के बाद खाया जाता है। अखरोट, बादाम, मूंगफली और उबले हुए मक्के के बारे में तो कहना ही क्या ये सभी चीज़ें चीनियों के रोज़मर्रा के आहार का हिस्सा हैं। दूध पीने से ज्यादा यहां पर लोग सुगंधित मीठी दही का सेवन ज़रूर करते हैं। दही कई तरह के फ्लेवर में यहां बाज़ारों में आपको मिल जाएगी।
हमने एक और भारतीय छात्र से बात की जो चीन के पूर्वी क्षेत्र हांगचोउ में पढाई करते है और मंच में भाग लेने के लिए पेईचिंग आये हुए थे। वह भी चीन के बारें में सभी की तरह समान राय रखते है।