"सानच्यांग युआन"चीनी भाषा में"सान"का अर्थ"तीन"है,"च्यांग"का अर्थ"नदी"और "युआन"का अर्थ"स्रोत"। कुल मिलाकर कहा जाए, तो"सान च्यांग युआन" का अर्थ"तीन नदियों का उद्गम स्थल"होता है। सानच्यांग युआन क्षेत्र चीन के ही नहीं, विश्व भर के पारिस्थितिकी और जलवायु के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है।
छिंगहाई प्रांत की मात्वो कांउटी पीली नदी के स्रोत पर समुद्र तल से सबसे ऊंचे स्थान पर स्थित है, जिसकी जनसंख्या इस प्रांत में सबसे कम है। 27 वर्षों में पारिस्तितिकी पर्यावरण संरक्षण में संलग्न ली तावई मात्वो कांउटी के सानच्यांग युआन कार्यालय के प्रधान हैं और इसी क्षेत्र में पारिस्थितिकी परिवर्तन के प्रत्यक्ष साक्षी भी हैं।
ली तावेई ने कहा कि चरागाह बंदकर पुनः घास उगाने वाली परियोजना के कार्यान्वय से सानच्यांग युआन में जल संसाधन बहाल करने की स्थिति बेहतर है। गर्व की बात है कि मात्वो कांउटी के इतिहास में"हज़ार झीलों"वाला चमत्कार एक बार फिर नज़र आया है। मानव जाति और जंगली जानवरों के बीच ज्यादा से ज्यादा सामंजस्यपूर्ण रूप से रहने लगे हैं। इससे ली तावेई बहुत संतुष्ट हैं। उन्होंने कहा कि अब सान च्यंगयुआन क्षेत्र में चरवाहों के पास पर्यावरण संरक्षण की विचारधारा धीरे-धीरे बदल रही है। ली तावेई ने कहा:
"शुरु में चरवाहों को सिर्फ़ ये पता चलता है कि घास के मैदानों में गंभीर कम आई है और उन्हें यहां से दूर जाना पड़ा। लेकिन उनके स्थानांतरण के बाद से लेकर अब तक कुछ ही वर्षों में घास के मैदानों की स्थिति धीरे-धीरे बहाल होने लगी है। हम अक्सर उन्हें पर्यावरण संरक्षण संबंधी जानकारी भी देते हैं। आज स्थानीय चरवाहों की समझ में आया कि पीली नदी के स्रोत पर पारिस्तितिकी संरक्षण से मात्वो कांउटी के लिए ही नहीं, पीली नदी के निचले भाग में पेयजल सुरक्षा भी अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह हमारे संपूर्ण चीन के लिए ही नहीं, बल्कि सारे एशिया के लिए भी लाभदायक है। उन्हें पता चला है कि पीली नदी के स्रोत का अच्छी तरह संरक्षण करना पूरे एशिया की पारिस्थितिक बाड़ का संरक्षण करने के बराबर है।"
ली तावेई के अनुसार वर्ष 2013 सानच्यांग युआन पारिस्थितिकी संरक्षण परियोजना के कार्यान्वयन का महत्वपूर्ण साल है। क्योंकि यह पारिस्थितिकी संरक्षण के पहले चरण की परियोजना का अंतिम वर्ष है, यही नहीं वर्ष 2014 में शुरू होने वाले दूसरे चरण की परियोजना के कार्यान्वयन के लिए भी आधार प्रदान होगा। इसका परिचय देते हुए ली तावेई ने कहा:
"ये वर्ष छिंगहाई प्रांत में सानच्यांग युआन पारिस्थितिकी संरक्षण परियोजना के पहले चरण का अंतिम साल है। हमारी मात्वो कांउटी का उत्तरदायित्व है कि करीब 36 हज़ार 667 हेक्टेयर क्षेत्रफल वाली काली मिट्टी का निपटारा किया जाए, 8080 हेक्टेयर क्षेत्रफल के आर्द्रभूमि का संरक्षण किया जाए और लगभग 2667 हेक्टेयर क्षेत्रफल के पहाड़ी क्षेत्र में वनरोपण किया जाए। पिछले वर्ष देश द्वारा पुष्टि की गई थी कि सानच्यांग युआन मिश्रित परिक्षण केंद्र वाली परियोजना के दूसरे चरण का कार्यान्वयन अगले वर्ष में शुरू किया जाएगा।"
इस वर्ष 45 वर्षीय ली तावेई सानच्यांग युआन पारिस्थितिकी संरक्षण कार्य में पिछले 27 साल से कार्यरत हैं। उन्होंने कहा कि पर्यावरण को नष्ट करना आसान है, लेकिन इसे फिर से बहाल करना बहुत कठिन है। सानच्यांग युआन में पारिस्थितिकी संरक्षण दीर्घकालिक काम है। मोत्वो कांउटी के इतिहास में रिकॉर्ड किए गए"स्वर्ग का उद्यान"वाला दृश्य शायद वह खुद नहीं देख पाते। लेकिन वे फिर भी यहां के पारिस्थितिकी संरक्षण कार्य में कोशिश करते रहेंगे। वे आने वाली पीढ़ियों के लिए कुछ न कुछ योगदान करना चाहते हैं। ली तावेई ने कहा:
"सानच्यांग युआन के इतिहास में वर्णन किया गया कि मैं जो दृश्य नहीं देख पाता हूं उसके लिये मुझे खेद है। यहां काम करते हुए 27 वर्ष बीत चुके हैं। वर्ष 2003 से आज तक मैंने सानच्यांग युआन पारिस्थितिकी संरक्षण कार्यों में भाग लिया है। पारिस्थितिकी प्रणाली की बहाली दर्जनों वर्षों की जरूरत है। अब मैं आने वली पीढ़ी के लिए काम कर रहा हूँ। यह तो मेरे मन का विचार भी है।"