फ़ुकुशिमा प्रथम परमाणू संयंत्र के नम्बर तीन रिएक्टर को नुकसान पहुंचने की आशंका है, जिससे इस रिएक्टर के बेसमेंट में जमे पानी में विकिरण सामान्य स्तर से दस हज़ार गुना अधिक है। जापान के परमाणु ऊर्जा सुरक्षा गारंटी विभाग ने 25 मार्च को यह जानकारी दी।
विकिरण के जारी रहने तथा आपूर्ति मुश्किल होने से फ़ुकुशिमा प्रथम परमाणऊ संयंत्र के 20 से 30 कि.मी. के दायरे में रहने वाले नागरिकों को हटाये जाने की भी आशंका है। जापानी प्रमुख केबिनेट सचिव एडानो यूकिओ ने उसी दिन यह बात कही। उन्होंने इस क्षेत्र के लोगों से हटने की भी अपील की है, और साथ ही स्थानीय सरकार से तैयारी करने का भी अनुरोध किया है।
इससे पहले फ़ुकुशिमा प्रथम परमाणु संयंत्र के 30 से 50 कि.मी. के दायरे में रह रहे बच्चों में नमुने के तौर पर विकिरण की जांच की गयी है, जिसके परिणाम से साबित होता है कि सभी लोग विकिरण से बचे हुए हैं।
25 मार्च के ग्यारह बजे तक जापान में आये भूकंप व सुनामी से दस हज़ार 35 लोगों की मौत हुई है और 17 हज़ार चार सौ 43 लोग लापता हैं। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष के अनुसार इस प्राकृतिक आपदा से जापान को पहुंचा नुकसान उसके जी.डी.पी. के 3 से 5 प्रतिशत के भाग के बराबर है, जिससे अस्थायी तौर पर विश्व अर्थव्यवस्था पर असर पड़ेगा।
(लिली)