श्री फ़ेन ने सिलसिलेवार पारिवारिक नैतिक नाटकों की प्रस्तुति की। जैसे《प्यार किया अलग हुआ》नामक नाटक में उन्होंने नपुंसकता के कारण मानसिक विकार से पीड़ित एक पति का अभिनय किया। उन्होंने बहुत अच्छी तरह से शरीर व भावना दोनों पक्षों में अभिनेता का दुख प्रस्तुत किया। जिससे कुछ दर्शकों के विचार में श्री फ़ेन य्वान चेन केवल हिंसक या मानसिक विकार की भूमिका अदा कर सकते हैं। इस पर श्री फ़ेन ने कहा कि, हाल ही में दर्शक अक्सर यह कहते हैं कि मैं केवल समस्याग्रस्त पुरुषों का अभिनय करता हूं। मैं ने जवाब दिया कि यह कोई बात नहीं है। क्योंकि चीन के नीतिशास्त्र में अगर टी.वी. नाटक में एक पत्नी ने दूसरे पुरुष से प्यार किया और इस से उस की शादी टूट गयी तो दर्शक ऐसे नाटक को स्वीकार नहीं कर सकते। इसलिये केवल पुरुष को यह भूमिका अदा करनी पड़ेगी।
क्योंकि श्री फ़ेन य्वान चेन ने दर्शकों के सामने समस्याग्रस्त पुरुषों की गहरी छाप छोड़ी, इसलिये कुछ दर्शकों के मन में शायद ऐसा शक पैदा हो गया कि क्या श्री फ़ेन आम जीवन में भी एक समस्याग्रस्त पति हैं?कुछ समय पहले श्री फ़ेन य्वान चेन व उन की पत्नी के साथ द्वारा लिखी गयी पुस्तक《अगर प्यार》प्रकाशित हुई है। इस पुस्तक में शादी के बाद के 15 वर्षों के जीवन में इस युगल दंपत्ति की दुख-सुख की कहानियां बतायी गयीं हैं। और इस पुस्तक ने श्री फ़ेन के प्रति दर्शकों की गलतफहमियों को भी मिटा दिया। श्री फ़ेन य्वान चेन ने कहा कि, मैंने अपनी पत्नी डैनी के साथ खुशी से बहुत साल तक जीवन बिताया है। क्योंकि हमारा अपना जीवन जीने का तरीका है। सब से महत्वपूर्ण विचार यह है कि शादी व्यवसाय की तरह संचालित की जानी चाहिए। मैं और डैनी ने इस पुस्तक में यह लिखा है कि हम एक दूसरे को कैसे गुंजाइश देते हैं। दस वर्ष, पंद्रह वर्ष या बीस वर्ष मेरे ख्याल से वास्तव में शादी संबंध भी समय के साथ बदल रहा है। वह शुद्ध प्रेम से परिवार-स्नेह बन रहा है। और परिवार-स्नेह भी प्रेम का एक तरीका है।
वर्तमान पेइचिंग टी.वी. में《अंतिम वांग ये》नामक नाटक प्रस्तुत किया जा रहा है। इस में यह बताया गया है कि 20वीं शताब्दी के आरंभ में चीन के अंतिम राजवंश छिंग की समाप्ति से वर्ष 1949 में नयी चीन की स्थापना के दौरान छिंग राजवंश के अंतिम वांग ये, यानि सम्राट के चाचा शो य्वान कैसे शाही परिवार के एक सदस्य से साधारण नागरिक बन गए। इस वांग ये का अभिनय श्री फ़ेन य्वान चेन ने किया। और वांग ये की मा श्री फ़ेन की पत्नी डैनी बनी।
इस नाटक में श्री फ़ेन द्वारा प्रस्तुत अभिनय बहुत दिलचस्प है। इन्टरनेट पर इस नाटक में श्री फ़ेन की प्रस्तुति का उच्च मूल्यांकन किया गया है। कुछ ने कहा कि वे बहुत बुद्धिमान व दिलचस्प हैं। और कुछ ने कहा कि उन्होंने बहुत अच्छी तरह से अभिनय किया है। यहां तक कि कुछ युवतियों ने कहा कि《अजनबियों से बातें मत करो》नाटक से वे उनसे बहुत नाराज़ थीं, लेकिन《अंतिम वांग ये》देखकर वे उन्हें पसंद करने लगीं हैं।
इस के प्रति श्री फ़ेन ने कहा कि,《अंतिम वांग ये》में सम्राट के चाचा की 40 वर्ष की जिन्दगी बतायी गयी है। उस की जिन्दगी बहुत अस्थिर है। वह शाही परिवार के एक सदस्य से अंत में एक साधारण नागरिक बन गए। और हर दिन उसे सब्जियां बेचने के लिये रास्ते पर इधर-उधर चलना पड़ता है।
जानकारी के अनुसार अब श्री फ़ेन य्वान चेन चीन के मशहूर हंसी-मज़ाक संवाद श्री हो बाओ लीन की जिन्दगी की तैयारी कर रहे हैं। इसलिये वे प्रति दिन हंसी-मज़ाक सुनते हैं, और श्री हो बाओ लीन की नकल करते हैं। श्री फ़ेन य्वान चेन के विचार में यह एक खुशी की बात है कि वे नाटक या टी.वी. में एक एक लोकप्रिय अभिनेता बन सकते हैं।(चंद्रिमा)