चीनी चिकित्सा-मंत्रालय के पदाधिकारी ने हाल में कहा कि चीन अधिक धनराशि लगाकर शहरी समुदायों में चिकित्सा-सेवा के विकास पर जोर देगा , ताकि चिकित्सा-सेवा के संदर्भ में नागरिकों से मिली खबरों का समाधान किया जा सके ।
सुश्री हाओ पेइचिंग के शचिंगशान जिले में रहती हैं । वे आम तौर पर तीन किलोमीटर दूर स्थित एक बड़े अस्पताल में डॉक्टर को देखने जाती हैं । पर हाल ही में उन के अपने पालतू कुत्ते ने अनजाने में उन्हें काट खाया । पागल कुत्ते का रोग लगने की आशंका में वे अस्पताल गयीं । पर अस्पताल विभिन्न क्षेत्रों से आये लोगों से भरा हुआ था। अन्त में वे वापिस आईं और अपने सामुदायिक क्लीनिक में ही पागल कुत्ते के रोग से बचाव का टीका लगवाया । उन्हें महसूस हुआ कि समुदाय में चिकित्सा-सेवा लेना कितना सुविधाजनक है ।
सुश्री हाओ ने कहा कि एक समुदाय में रोगियों की संख्या उतनी ज्यादा नहीं होती । कुछ ही देर में मुझे टीका लगा दिया गया । किंतु बड़े अस्पताल में बहुत भीड़ होती है , डॉक्टर देखने के लिए लम्बी-लम्बी कतारों में देर तक खड़े रहना पड़ता है । इसलिए मैंने सोचा है कि जहां तक संभव होगा मैं अपने समुदाय के क्लीनिक में ही जाऊंगी ।
पहले चीन की चिकित्सा-सेवा आम तौर पर बड़े शहरों में केंद्रित थी । इसलिए नागरिकों को हल्के या गंभीर रोग लगने पर बड़े अस्पतालों में जाना पड़ता था । पर वर्ष 1990 के दशक से चीनी शहरों में सामुदायिक-क्लीनिक स्थापित करने की लहर उभरी । लोग नजदीकी सामुदायिक क्लीनिकों में डॉक्टर को देखने जा सकते हैं ।सामुदायिक क्लीनिकों के विकास के लिए सरकार ने भिन्न-भिन्न प्रकार के कदम उठाये । आज चीनी शहरों में सामुदायिक क्लीनिकों का जाल बिछ चुका है ।
अब बहुत से लोगों को सुश्री हाओ की तरह अपने घर के सामने बुनियादी चिकित्सा-सेवा प्राप्त हो सकती है । घर से क्लीनिक तक जाने में कुछ ही मिनट लगते हैं , और यहां की चिकित्सा-सेवा के दाम भी उतने ऊंचे नहीं है । चीन के उप चिकित्सा मंत्री श्री च्यांग ज्वो च्वन के अनुसार भविष्य में चीन अधिक पूंजी लगाकर सामुदायिक क्लीनिकों के विकास का समर्थन करेगा , ताकि नागरिकों को सुविधाजनक व शीघ्र चिकित्सा-सेवा प्राप्त हो सके ।
सरकार सामुदायिक क्लीनिकों के बुनियादी निर्माण , मकानों के निर्माण व मरम्मत , बुनियादी उपकरण , चिकित्सकों के प्रशिक्षण तथा सेवा-निवृत्त चिकित्सकों की पेंशन में वित्तीय भत्ता प्रदान करेगी । केंद्रीय सरकार वर्ष 2007 से देश के मध्यम व पश्चिमी क्षेत्रों के सामुदायिक क्लीनिकों को , प्रति समुदाय निवासी के लिए तीन-चार य्वान का भत्ता देगी ।
श्री च्यांग ने कहा कि निजी पूंजी या व्यक्तियों द्वारा संचालित सामुदायिक क्लीनिकों का भी स्वागत किया जाता है । निजी पूंजी या व्यक्तियों से संचालित सामुदायिक क्लीनिकों को भी सरकारी भत्ता प्राप्त हो सकेगा । श्री च्यांग ने कहा कि सरकार सामुदायिक क्लीनिकों की सेवा , औषधियों के दाम आदि का कड़ाई से प्रबंध करेगी , ताकि नागरिकों को निम्न दाम पर चिकित्सा-सेवा प्राप्त हो सके ।
सामुदायिक क्लीनिकों में दाम कम होने चाहियें , जो समुदाय में रहने वालों के लिए सहनीय हों । क्योंकि सामुदायिक क्लीनिक बुनियादी चिकित्सा-सेवा और बुनियादी दवा प्रदान करते हैं , जिन का दाम इसीलिए बड़े अस्पतालों से कम है ।
श्री च्यांग ने कहा कि तीस हजार से ऊपर की जनसंख्या वाले चीन के सभी शहरी समुदायों में सामुदायिक क्लीनिकों की स्थापना की जाएगी । हरेक सामुदायिक क्लीनिक में छः से नौ डॉक्टर व नर्सें मौजूद होंगे , इस के बाद नागरिकों को हल्के रोगों के लिए बड़े अस्पताल जाने की ज़रुरत नहीं होगी ।
इधर के सालों में चीनी शहरों में सामुदायिक चिकित्सा उपचार केंद्रों का जाल स्थापित हुआ है । आज के इस कार्यक्रम में हम आप को इस के बारे में कुछ जानकारी दे रहे हैं ।
विकसित देशों के शहरों में क्लीनिक रखा जाने का लम्बा इतिहास है । इस से नागरिकों को अपने घर के पास ही रोग उपचार , रोगरोधन और स्वास्थ्य लाभ आदि की चिकित्सकीय सेवा सुलभ रहती हैं । क्योंकि अधिकांश रोगों के मामले में रोगियों के लिये बड़े अस्पताल जाने की जरूरत नहीं होती है , उन का उपचार सामदायिक क्लीनिकों में ही संपन्न हो सकता है । इसलिये चीन ने वर्ष 1997 से शहरों के सामदायिक उपचार केंद्रों की स्थापना को महत्व देना शुरू किया । इस विषय की चर्चा में चीनी चिकित्सा मंत्रालय के एक पदाधिकारी ने यह बताया , चीनी सामदायिक चिकित्सा सेवा विकास योजना में जन व प्राथमिक चिकित्सा सेवाएं सामदायों के भीतर ही प्रदान करने का विचार रखा गया है । दूसरे शब्दों में कहे तो लोगों को छोटी मोटी बीमारियों के इलाज के लिये बड़े अस्पताल जाने की जरूरत नहीं होगी ।
सामदायिक क्लीनिकों की स्थापना को प्रोत्साहित करने के लिये चीन सरकार ने विशेष उदार नीति बनायी है । इस में सरकार को ही नहीं , कारोबार , सामाजिक समुदाय तथा व्यक्ति सब को ऐसी क्लीनिक खोलने की इजाजत दी जाएगी । पूंजीनिवेशक बोली के जरिये क्लीनिक की स्थापना का अधिकार प्राप्त कर सकेंगे , और सामदायों में रहने वाले निवासियों को भी क्लीनिक की स्थापना पर राय पेश करने का अधिकार मिलेगा । शहरों के बड़े अस्पतालों में कार्यरत डाक्टरों और नर्सों , और यहां तक कि अवकाश प्राप्त चिकित्सा कर्मियों को भी इन क्लीनिकों में काम करने के लिये प्रोत्साहित किया जाएगा । और इन क्लीनिकों के स्तर को उन्नत करने के लिये इन के बड़े अस्पतालों के साथ सहयोग को भी बढ़ावा मिलेगा ।
हाल में चीनी शहरों में सामदायिक क्लीनिकों का उल्लेखनीय विकास हो पाया है और इस से नागरिकों को भी बड़ी सुविधा मिली है । पूर्वी चीन के च-च्यांग प्रांत की यान-ची नामक बस्ती में रह रही सुश्री लौ गन-ओ ने अपनी बस्ती के क्लीनिक की प्रशंसा करते हुए कहा , हमारी क्लीनिक की सेवा बेहतर और सुनिधाजनक है । मैं पिछले 5-6 सालों से उच्च रक्तचाप से परेशान हूं । मैं नियमित रुप से यहां की क्लीनिक में शारीरिक जांच कराने आती हूं , यहां के डाक्टर मुझे अच्छा उपचार देते हैं । आशा है कि भविष्य में क्लीनिक का और विस्तार किया जाएगा ।
यान-ची बस्ती क्लीनिक न केवल रोगियों को दवा देती है । उस की घुमंतू नर्सें भी हैं , जो रोगियों के घर में सेवा प्रदान करती हैं । क्लीनिक में सूई लगाने , दवा चढ़ाने और स्वास्थ्य लाभ सेवा भी प्रदान की जाती है । क्लीनिक की डाक्टर सुश्री सुन अपने काम की चर्चा करते हुए बताती हैं , मुझे कभी कभी एक ही दिन कई रोगियों के घर जाना पड़ता है । रोगियों को हमारी क्लीनिक पसंद है , क्योंकि उन्हें बड़े अस्पताल की तुलना में क्लीनिक ज्यादा सुविधाजनक और सस्ती लगती है ।