भारतीय मीडिया ने 8 जून को रिपोर्ट दी कि सरकार उपक्रमों की विलय व खरीददारी की कार्यवाही को सुव्यवस्थित करने के लिए भावी 3 महीनों के अंदर प्रतिस्पर्द्धा कानून की कार्यान्वयन नियमावली बनाएगी।
यह नियमावली कार्यांवित की जाने के बाद भारतीय उपक्रमों की सभी विलय व खरीददारी की कार्यवाही को प्रतिस्पर्द्धा कानून के अनुसार प्रतिस्पर्द्धा कमेटी से अनुमति पाना चाहिए। प्रतिस्पर्द्धा कमेटी उपक्रमों से विलय योजना में संशोधन करने की मांग कर सकती है या इसे रोक सकती है, ताकि बाजार में न्यायपूर्ण प्रतिस्पर्द्धा सुनिश्चित की जा सके। (ललिता)