2009-05-11 17:30:17

भूंकप आदि प्राकृतिक विपत्तियों के बचाव व रोकथाम कार्य को प्रगाढ़ करने पर चीन पूरी शक्ति लगा रहा है

12 तारीख पिछले साल की 12 मई स्छवान भीषण भूंकप के उत्पन्न होने की पहली वर्षगांठ का दिन है और चीन का पहला विपत्ति बचाव व रोकथाम दिवस भी है। चीनी नागरिक मामला मंत्रालय के विपत्ति बचाव विभाग के निदेशक चओ मिंग ने 11 तारीख को पेइचिंग में कहा कि चीन सरकार भूंकप, बाढ़ आदि विपत्तियों की पूर्व चेतावनी के वैज्ञानिक अनुसंधान व व्यवस्था के निर्माण की शक्ति को प्रगाढ़ कर रहा है और उसे अर्थतंत्र व सामाजिक विकास योजना में शामिल कर लिया है और अर्थतंत्र व सामाजिक विकास के अनवरत विकास के पूर्ण लक्ष्य को सुनिश्चता प्रदान की है। चीन दुनिया के प्राकृतिक विपत्तियों के उत्पन्न होने का एक सबसे गंभीर देश है, विपत्तियों की किस्में भी विविध है और उत्पन्न होने की दर ऊंची ही नहीं उसके विस्तृत होने के क्षेत्र भी काफी विशाल और क्षतिग्रस्त भी गंभीर हैं। पिछले साल की 12 मई को चीन के स्छवान प्रांत में रिएक्टर पैमाने पर 8.0 का तीव्र भूंकप मापा गया, जिस ने स्थानीय जनता के उत्पादन व जीवन को भारी क्षति पहुंचाई। भूंकप के बाद, चीन सरकार जल्द ही आपात बचाव व जन समुदाय के पनाह व भूंकपग्रस्त क्षेत्रों के पुननिर्माण कार्यों में जुट गयी। इस के अलावा, भूंकप विपत्ति बचाव की पूर्व चेतावनी का अनुसंधान भी जोरों से चल रहा है। 11 तारीख को राज्य परिषद सूचना कार्यालय द्वारा आयोजित एक न्यूज ब्रिफिंग में चीनी नागरिक मामला मंत्रालय के विपत्ति बचाव विभाग के निदेशक चओ मिंग ने जानकारी देते हुए कहा चीन राष्ट्रीय समग्र विपत्ति बचाव की क्षमता व विपत्ति बचाव की आपात व्यवस्था को उन्नत करने के एक जत्थे की परियोजनाओं को अमल में लाने की भरसक कोशिश कर रहा है, इन में राष्ट्रीय विपत्ति की जोखिम क्षेत्रों में वहां की जोखिमता की जांच व बचाव कार्य की क्षमता को उन्नत करने पर अध्ययन करना भी शामिल है, इस के साथ केन्द्रीय व स्थानीय चार स्तरीय विपत्ति आपात निर्देशन व्यवस्था के निर्माण परियोजना समेत उपग्रह के जरिए विपत्ति बचाव व्यवस्था तथा बचाव लघु उपग्रह आदि संसाधन व अनुसंधान मुददे भी शामिल हैं। इस के अलावा, चीन कुछ पेशावर निरीक्षण उपग्रहों को छोड़ने की भी योजना तैयार कर रहा है, जिन्हें भूंकप से संबंधित कार्यों के निरीक्षण में प्रयोग किया जाएगा। चीनी भूंकप ब्यूरो के भूंकप विपत्ति व बचाव विभाग के उप निदेशक तू वए ने जानकारी देते हुए कहा 2008 के अन्त में हमने चीनी भूंकप पृष्ठभूमि से संबंधित सर्वेक्षण परियोजना की शुरूआत की, जिस में कुल 40 करोड़ से अधिक य्वान की पूंजी लगायी गयी है, इस परियोजना के कार्यान्वयन ने हमारे देश के भूंकप निगरानी व अनुसंधान की कार्य क्षमता को अधिक विस्तार करने के साथ उसके परिपूर्ण को भी प्रगाढ़ किया है। भूंकप की पूर्व चेतावनी देने जैसे विश्वव्यापी जटिल सवाल पर श्री तू वए ने कहा कि चीन का भूंकप पूर्व चेतावनी अनुसंधान को चलाए गए कई साल हो चुके हैं, और छोटे पैमाने पर कुछ प्रयोगत्मक तकनीकी व्यवस्था परीक्षण भी किया है, लेकिन उसे व्यवहारिक बनाना अब भी बहुत दूर का सवाल है। चीन ने भारी जत्थे में पेशावर विशेषज्ञों का गठन कर सुनामी पूर्व चेतावनी के निर्माण पहलु में अनुसंधान को सुदढ़ किया है और आशा है कि कुछ ही सालों में भूंकप उत्पन्न क्षेत्रों की पूर्व चेतावनी की सतर्क व्यवस्था को भी विस्तार किया जाएगा। जलवायु संस्थापन भी गत वर्ष के भीषण भूंकप पर बुरी तरह क्षतिग्रस्त हुआ। चीनी मौसम ब्यूरो के आपात विपत्ति बचाव सार्वजनिक सेवा विभाग के उप निदेशक छन चंग लिंग ने कहा कि भूंकपग्रस्त क्षेत्रों के अनेक किस्मों की मौसम विपत्ति की प्रतिक्रियाएं खासकर संवेदनशील होती है, विभिन्न किस्म के भूंकप विपत्ति के बाद के पुननिर्माण कार्यवाहियों ने मौसम सेवा के आगे बहुच ऊंची मांग पेश की है। इस लिए भूंकपग्रस्त क्षेत्र की मौसम सेवा व मौसम विपत्ति बचाव कार्य चीनी मौसम ब्यूरो के पूरे साल के कार्य का एक महत्वपूर्ण कार्य बन चुका है। उन्होने कहा इस साल की बाढ़ आने के संकेत को देखते हुए , स्छवान ने ही नहीं अन्य भूंकप क्षेत्रों समेत मौसम ब्यूरो के अनेक विभागों ने विभिन्न निगरानी, पूर्व चेतावनी व सेवा की पूरी आपात तैयारियां खतम कर ली है। इस साल उत्पन्न होने वाले खराब मौसम व उससे निकली विपत्तियों के बचाव कार्य की निगरानी व पूर्व चेतावनी व सेवा कार्य पर अभूतपूर्व बल दिया जा रहा है। 11 तारीख को चीनी राज्य परिषद सूचना कार्यालय ने चीन की विपत्ति बचाव कार्यवाही का श्वेत पत्र जारी किया , यह चीन सरकार द्वारा जारी किया गया पहला विपत्ति बचाव कार्य से संबंधित श्वेत पत्र है। इस श्वेत पत्र ने सर्वोगीण रूप से चीन के इधर के सालों में विपत्ति बचाव के पहलुओं में किए प्रयासों व कार्यवाहियों से हासिल उपलब्द्धियों व अनुभवों की जानकारी दी है। श्वेत पत्र ने इस पर भी जोर दिया है कि चीन निरंतर विपत्ति बचाव व रोकथाम क्षेत्र में अन्तरराष्ट्रीय सहयोग में हिस्सा लेगा और अन्तरराष्ट्रीय विपत्ति बचाव की सहयोग व्यवस्था का निर्माण करने के साथ उसे परिपूर्ण भी करेगा, ताकि महत्वपूर्ण विपत्तियों में आपसी सहायता व समन्वय को अधिक मजबूत किया जा सके।