उस के स्टेशन की स्थापना के बाद अब तक सरकार द्वारा संगठित 20 से अधिक सांस्कृतिक गतिविधियां आयोजित हुई हैं और 30 विभिन्न तरहों की प्रशिक्षण कक्षाएं खोली भी गयी हैं। जिन से स्थानीय ग्रामीण सांस्कृतिक जीवन में जीवन शक्ति का संचार हुआ है।
पूर्वी चीन के शान तुंग प्रांत के जाओ ज्यांग शहर ने अगले साल में शहर के 50 प्रतिशत प्रशासनिक गांवों में ग्रामीण पुस्तकालय की स्थापना करने की योजना बनायी । मङ ज्यांग काऊंटी के सांग यान गांव में स्थापित हो चुके ग्रामीण पुस्तकालय में 1 हजार 2 सौ से अधिक पुस्तकें पढ़ने के लिए मिल सकतीं हैं। गांववासी जु क्वांग शिन ने कहा कि यह पुस्तकालय उन के लिए शिक्षक का काम करता है। अगर कोई सवाल हुआ, तो समाधान ढूंढने के लिये वहां जाता है। श्री जु ने कहाः
इस पुस्तकालय की स्थापना के बाद मैं अक्सर पढ़ने यहां आता हूं। पुस्तक पढ़ने के बाद मुझे बहुत सी जानकारियां मिली हैं। इस पुस्तकालय की स्थापना से हमें विज्ञान व तकनीक सीखने की सुविधा प्रदान की गयी है और विज्ञान व तकनीकों की मदद से हमारी आय भी बहुत बढ़ गयी है। अब हम अमीर हो गये हैं।
ग्रामीण पुस्तकालय परियोजना चीनी प्रेस आयोग ने कार्यान्वित की है, जिस के जरिये ग्रामीण लोगों को पुस्तक, अखबार और ई-सीडी आदि की सांस्कृतिक सेवा प्रदान की जाती है। गत साल के अंत तक विभिन्न क्षेत्रों में 30 हजार ग्रामीण पुस्तकालय की स्थापना की गयी है। सरकार ने 10 सालों के भीतर चीन के सभी प्रशासनिक गांवों में ग्रामीण पुस्तकालय की स्थापना की योजना बनायी है।
चीनी रेडियो, फिल्म व टीवी महाब्यूरो ने फिल्म को गांवों में पहुंचाने की योजना लागू की, यानी सरकार द्वारा फिल्म खरीदने के बाद ग्रामीण क्षेत्रों में मुफ्त रूप से दिखायी जाती है और ग्रामीण फिल्म प्रोजेक्शन कंपनी को हर शॉ के लिए 100 य्वान की भत्ता भी दी जाती है ।
हे नान प्रांत की काई फेंग काऊंटी में स्थित शिन ह्वा ग्रामीण डिजिटल फिल्म कंपनी ग्रामीणों को फिल्म दिखाती है। आंकड़ों के अनुसार 2007 तक इस कंपनी ने ग्रामीणों के लिये 17 हजार फिल्म शॉ मुफ्त रूप से दिखाये हैं और दर्शकों की कुल संख्या 1 करोड़ 30 लाख पहुंची।
इस कंपनी की मेनेजर सुश्री क्वो ज्यान ह्वा ने सीसी टीवी के साथ साक्षात्कार में कहाः
कल्याण के तौर पर गांवों में फिल्म दिखाने से ग्रामीण लोगों को लाभ मिलता है, जो इधर के दसियों सालों से आम लोगों के लिए सब से बड़ी उदारता नीति है।
चीन की विभिन्न स्तरीय सरकारें बुनियादी सांस्कृतिक सेवा के तरीकों का सृजन करने की कोशिश भी करती हैं। दक्षिण चीन का चांग शी प्रांत 2007 से हर साल पेशेवर कला मंडलियों को ग्रामीण क्षेत्रों में प्रस्तुति करने के लिये 10 करोड़ य्वान प्रदान करता है।
चीन सरकार आधारभूत संस्थापनों के निर्माण पर जोर देने के साथ साथ ग्रामीणों को सांस्कृतिक निर्माण में भागीदारी को प्रोत्साहित भी करती है। आंकड़ों के अनुसार वर्तमान में देश में गैरसरकारी कला मंडलियों की संख्या 7 हजार पहुंची है और सालाना प्रस्तुति शॉ 20 लाख हो गये हैं।
चीनी उप संस्कृति मंत्री ओ यांग ज्यान ने कहा कि सरकार ग्रामीणों द्वारा सांस्कृतिक दल की स्थापना का समर्थन करती है और गांवों को सांस्कृतिक उत्पाद प्रदान करती है। उन्होंने कहाः
ग्रामीण लोगों की आदत के अनुरूप सांस्कृतिक उत्पाद प्रदान किया जाना चाहिये। हमें ग्रामीण विशेषता और ग्रामीण लोगों की पसंद के आधार पर उन्हें समृद्ध सांस्कृतिक उत्पाद तैयार करना चाहिये।
ओ यांग ज्यान के विचार में ग्रामीण संस्कृति का विकास करना लम्बे समय की जरूरत होगी और इस में बहुत कठिनाइयां मौजूद हैं, लेकिन यह लक्ष्य जरूर साकार होगा। (रूपा)