किनिया के प्रधान मंत्री श्री रैला ओडिनगा ने हाल ही में संयुक्त राष्ट्र मानवीय आवास योजना विभाग के साथ एक समझौते पर हस्ताक्षर किया , जिस के मुताबिक दोनों पक्ष सहयोग करते हुए किनिया की राजधानी नैरोबी को विश्व स्तर के एक महानगर का रूप देने की कोशिश करेंगे । नैरोबी शहर के शहरी विकास मंत्री श्री मुटुला किलोनजो ने 6 नवम्बर को कहा कि किनिया निकट भविष्य में अपने वर्तमान कानूनों में संशोधन करेगा या एक नया कानून बनाएगा , ताकि नैरोबी शहर की समृद्धि के लिए रास्ता प्रशस्त किया जाए ।
किनिया और संयुक्त राष्ट्र मानवीय आवास विभाग ने हाल में चीन के नानचिंग शहर में आयोजित चौथे विश्व शहर मंच के दौरान उक्त समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं। समझौते का मुख्य विषय दोनों पक्षों के बीच तकनीकी सहयोग से जुड़ा है,जिस में शहरी इंजीनियरिंग डिजाइन और नगरी निर्माण योजना शामिल है। इस का दीर्घकालीन लक्ष्य नैरोबी को एक उच्च आधुनिक , समृद्ध और सुरक्षित विश्व स्तरीय महा नगर के रूप में विकसित करना है। यह योजना हाल ही में प्रस्तुत नैरोबी मैट्रो 2030 रणनीतिक परियोजना का एक भाग है।
नैरोबी शहर का क्षेत्रफल 684 वर्गकिलोमीटर है और 2007 के अंत तक उस की जन संख्या 30 लाख है, हर वर्गकिलोमीटर पर औसत जन घनत्व 4200 लोग हैं। वह अफ्रीका का चौथा बड़ा शहर है और विश्व में घनी जनसंख्या वाले शहरों में से एक है। नैरोबी का विकास असंतुलित है और वहां गरीबी और अमीरी में खाई चौड़ी है । 30 लाख आबादी में से आधा भाग सरल और गंदा झोपड़ियों में रहता है। शहर के सब से बड़ी झोपड़ी बस्ती में 10 लाख लोग रहते हैं, जो नैरोबी की कुल जनसंख्या का एक तिहाई भाग बनता है । नैरोब विश्व में सब से जन घनत्व वाले शहरों में से एक है । इसलिए इधर के सालों में किनिया ने देश में शहरीकरण की गति तेज कर दी ,जिस के कारण किनिया के अन्य प्रांतों ,यहां तक कि पड़ोसी देश तांजानिया व युकांडा के लोग भी स्वप्न लिए नैरोबी में आ बसे। गृहयुद्ध से बुरे प्रभावित पड़ोसी देश सोमाली के भी बहुत से शरणार्थी सीमा पार कर नैरोबी में नौकरी करने आते हैं। तेजी से बढ़ती आबादी नैरोबी के पिछड़े हुए बुनियादी संस्थापनों के लिए एक बड़ी चुनौति बन गयी । वर्तमान में नैरोबी में सड़कें टूटी फूटी है , ट्रैफिक जाम गंभीर हुआ करती है , बिजली सुविधा खराब व पुरानी पड़ी तथा जल सप्लाई व्यवस्था भी खराब है ।
नैरोबी में शहरी इलाके के विस्तार व जनसंख्या में भारी वृद्धि और बुनियादी सुविधाओं के पिछड़पन के बीच अन्तरविरोध लगातार बढ़ता जा रहा है। और उसे सुधारने का काम निहायत जरूरी है। किनिया के प्रधान मंत्री श्री ओडिनगा ने हाल में कहा कि पहले किनिया सरकार ने नैरोबी की बुनियादी सुविधाओं को सुधारने के लिए संबंधित नीतियां बनायी थीं , लेकिन इन नीतियों पर अमल भ्रष्टाचार आदि समस्यों से अवरूद्ध हुई और कभी अमल में नहीं लाया गया ।
संयुक्त राष्ट्र संघ के उप महा सचिव , मानवीय आवास विभाग के कार्यकारी अध्यक्ष सुश्री आन्ने टिबैजुका ने कहा कि मानवीय आवास विभाग समाज और पर्यावरण के तहत अनवरत आवास विकास को बढ़ाने , शहरों के गरीब समूहों को मिटाने तथा शहरी बुनियादी सुविधाओं को बेहतर करने का लक्ष्य बनाया है और किनियी सरकार को नैरोबी को विश्व स्तरीय नगर का रूप देने में सहायता देगा । मानवीय आवास विभाग परियोजना की अवधारणा बनाने , शहरी बुनियादी सुविधाओं के निर्माण डिजायन व तकनीकी अनुसंधान करने में किनिया सरकार की मदद करेगा ,ठोस योजना में सड़कों को चौड़ा बनाना , गरीब झोपड़ी बस्तियों की समस्या हल करना , वर्तमान रेल लाइनों को सुधारना तथा तकनीशियनों को प्रशिक्षण देना शामिल है। योजना के दूसरे पक्ष के रूप में नैरोबी के शहरी विकास विभाग ने भी एक रणनीतिक कार्यक्रम बनाया है और इस पर अमल के लिए तैयारी भी कर रहा है । किनिया सरकार के संबंधित विभाग के अनुसार नैरोबी को आधुनिक विश्व महानगर के रूप में विकसित करने के लिए कम से कम 26 अरब अमरीकी डालर की जरूरत है।
किनिया मीडिया और नैरोबी निवासी इस योजना का स्वागत करते हैं। बहुत से लोगों की उम्मीद है कि नैरोबी का पिछड़े हुए बुनियादी संस्थापनों का जल्दी ही सुधार किया जाएगा । जबकि गरीब झोपड़ियों में रहने वाले आम लोगों के लिए जीवन के वातावरण को सुधारना और ईंटों के पक्के मकान में रहना पीढियों का सपना है। किनिया सरकार और संयुक्त राष्ट्र मानवीय आवास विभाग की इस सहयोग योजना पूरी होने के बाद नैरोबी के लाखों आम निवासियों की अभिलाषा भी पूरी होगी।
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