2008-03-06 12:25:24

पुलिस लेखक छाओ नाई-छैन की कहानी

उत्तरी चीन के शनशी प्रांत के ताथुंग शहर में एक पुलिस अफसर हैं,जिन का नाम है छाओ नाई-छैन।अन्य पुलिसकर्मियों से वे इस अर्थ में अलग हैं कि वे एक प्रसिद्ध लेखक भी हैं। उन की 30 से अधिक कहानियां जापान,अमरीका,कनाडा और स्वीडन आदि देशों में भी लोकप्रिय हो चुकी हैं। 

कुछ समय पूर्व छाओ नाई-छैन के एक नए उपन्यास का प्रकाशन हुआ,जिस का नाम है `वन चा-याओ का दृश्य`।इस में कोई 40 साल पहले वन चा-याओ नामक एक गांव के लोगों के जीवन का सजीव वर्णन किया गया है।आम तौर पर चीनी लेखक किसानों के यौन-जीवन के बारे में लिखने से दूर रहते हैं,लेकिन छाओ नाई-छैन के इस उपन्यास में किसानों का यौन-दमन पूरी तरह पाठकों के सामने उभार कर सामने रखा गया है।छाओ नाई-छैन ने कहा कि बिना ठोस अनुभव प्राप्त किए इस तरह का उपन्यास कतई नहीं लिखा जा सकता है।उन्हों ने कहाः

"मैं ने जो कृतियां लिखी हैं,उन सब के मुख्य पात्र व्यवहारिक जीवन में देखने को मिल सकते हैं।कभी-कभी जो लिखा गया है,वह खुद मुझ पर आधारित है।मैं सर्वेक्षण या जांच-पड़ताल के आधार पर कोई भी रचना नहीं करता और न ही जीवन के अनुभव के बगैर कुछ लिखता हूं।मेरी कृतियों में जो लिखा गया है,वे या तो खुद मेरे साथ हुआ है या मेरे परिचितों के साथ हुआ है। "

वास्तव में छाओ नाई-छैन ने कोई 10 साल पहले ही यह उपन्यास लिखने का काम पूरा कर लिया था।लेकिन प्रकाशन-जगत ने अप्रिय सामाजिक प्रभाव की आशंका से उसे अस्वीकार किया । दसेक साल के विकास के बाद चीनी समाज में बड़ा सुधार आया है लोगों के विचारों में भी बड़ा परिवर्तन हुआ है। इसलिए छाओ नाई-छैन के उस उपन्यास का प्रकाशन हो पाया। स्वीडिश अकादमी के अकादमिशन,चीन-विद्यावित् श्री गोरान मालम्क्विस्ट को छाओ नाई-छैन की लेखनशैली बहुत पसंद है।उन्हों ने कहा कि छाओ नाई-छैन की कृर्तियों का विभिन्न भाषाओ में अनुवाद किया जाना चाहिए। इस समय श्री गोरान मालम्क्विस्ट स्वयं स्वीडिश भाषा में छाओ नाई-छेन के इस उपन्यास का अनुवाद कर रहे हैं। योजनानुसार जल्द ही इस उपन्यास का स्वीडिश संस्करण प्रकाशित होगा।

छाओ नाई-छैन अपनी मां पर भी एक उपन्यास लिख रहे हैं।अब तक इस के कोई 2 लाख शब्द लिखे जा चुके हैं । योजना अनुसार वह अगले साल अपनी सेवानिवृति से पहले इस उपन्यास को लिखने का तमाम काम पूरा कर लेंगे।उन की मा उम्र के आखिर में मानसिक रोग से पीड़ित रहीं।मां की देखरेख अच्छी तरह करने के लिए वह 6 सालों तक लेखन से दूर रहे। लेकिन आखिर में मां चल बसीं।मां के जाने का उन्हें बहुत दुख हुआ।इसलिए उन्हों ने इस उपन्यास को लिखने का निर्णय किया,ताकि एक मां के निस्वार्थ योगदान के अनुभवों को दूसरों से साझा किया जा सके।उन्हों ने कहाः

"इस उपन्यास को पूरा करने के लिए मुझे 2 लाख 50 हजार शब्द और लिखने की जरूरत है।कुछ लोगों ने मुझे ज्यादा लम्बा न लिखने की सलाह दी है और कहा है कि लम्बी कृति से पाठक भाग जाते हैं।लेकिन यह उपन्यास लिखने का मेरा उद्देश्य सिर्फ अपनी मां को याद करना है न कि इस के प्रकाशन के बारे में चिंता करना।इस संदर्भ में लिख कर ही मुझे संतोष मिल सकता है।"

छाओ नाई-छैन ने कहा कि वह बहुत कंजूस हैं।खाने और पहनने में उन्हों ने कभी ज्यादा खर्च नहीं किया है। लेकिन लेखन के लिए वह सब कुछ देने को तैयार है।उन का कहना हैः

"मैं आम तौर पर पुलिसवर्दी में रहता हूं। टी-शर्ट और सूट मेरे पास हैं,पर ज्यादा नहीं।खाने-पीने और पहनने में ज्यादा खर्च करना मेरी नजर में फिजूलखर्ची है।लेकिन मैं खुले हाथों पुस्तकें खरीदता हूं। मेरे एक 20 वर्गमीटर क्षेत्रफल वाले कमरे की तीनों ओर फर्श से छत तक किताबें ही किताबें हैं,जिन की संख्या करीब 5000 है। किताबें मेरे जीवन का एक अहम भाग है। "

छाओ नाई-छैन चीन में ऐसे लेखकों में से एक है,जिन्हों ने लिखने में सब से पहले कंप्यूटर का प्रयोग किया है। पिछली शताब्दी के नवें दशक के आरंभ में ही जब उन के पुलिस-आफिस में कंप्यूटर का नामोनिशान तक नहीं था,उन्हों ने अपनी आधे साल की तनख्वाह से एक कंप्यूटर खरीदकर घर में लगवाया।वह हमेशा नई कंप्यूटिंग सुविधाओं का पीछा करते हैं।जब कोई नई कंप्यूटिंग तकनीक सामने आती है,तब वह उस से अपने कंप्यूटर को लैस करते हैं।उन्हों ने कहा कि वह जीवन में हर तरह की समस्या सह सकते हैं,लेकिन काम की सुविधा में जो समस्या खड़ी है,उसे जल्द ही मिटाना उन्हें जरुरी लगता हैं।