कोरिया गणराज्य की यात्रा कर रहे चीनी तिब्बती विद्या के जीवित बुद्ध प्रतिनिधिमंडल ने 8 सितंबर की सुबह सियोल में कोरिया गणराज्य में रहने वाले चीनियों, प्रवासी चीनियों और चीनी छात्रों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की। अब प्रतिनिधिमंडल की 5 दिवसीय कोरिया गणराज्य यात्रा समाप्त चुकी है।
प्रतिनिधिमंडल के प्रमुख यानी चीनी तिब्बती विद्या अनुसंधान केंद्र के उप महानिदेशक द्रामतूल और चीनी बौद्ध धार्मिक संघ की तिब्बत शाखा के उपाध्यक्ष जीवित बुद्ध टेनचीन गेलेग ने उन लोगों को तिब्बती जातीय क्षेत्रीय स्वशासन व्यवस्था, तिब्बती बौद्ध धर्म की मुख्य विशेषताओं, तिब्बत के आर्थिक व सांस्कृतिक विकास की स्थिति और चीन सरकार व दलाई ग्रुप के संबंध के बारे में जानकारी दी।
बैठ में उपस्थित कुछ लोग 30 या 40 साल से पहले तिब्बत आए थे। उन्हें लगता है कि पुराना तिब्बत बहुत पिछड़ा था। इस बारे में प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि इस साल तिब्बत की शांतिपूर्ण मुक्ति की 60वीं वर्षगांठ है। तिब्बत में प्रशासनिक व धार्मिक मिश्रित सत्ता प्रणाली से समाजवादी जातीय क्षेत्रीय स्वायत्त प्रशासन प्रणाली का बदलाव हुआ है, जिससे सामाजिक व आर्थिक कामयाबियां हासिल हुईं। तिब्बती जनता चीन के अन्य लोगों के साथ आधुनिकीकरण के निर्माण का लाभ उठा रही है।
(मीनू)