"जनता के पुलिसकर्मी जनता की सेवा करते हैं" शब्दों से लिखे हुए लाल झंडा
ली युनछिंग नाम की ये दादी मां पुलिस सेवा स्टेशन की बहुत आभारी हैं। 18 अगस्त वर्ष 2014 को उसने इस पुलिस स्टेशन के पुलिसकर्मियों को धन्यवाद देने के लिए और उनके सम्मान में"जनता के पुलिसकर्मी जनता की सेवा करते हैं"वाले शब्द लिखा हुआ लाल झंडा दिया। वास्तव में दादी मां ली युनछिंग के बराबर हर दिन इस प्रकार की कहानी साइखांग स्टेशन और दूसरे पुलिस सेवा स्टेशन में नज़र आती है। पुलिस सेवा स्टेशन की सारी दीवार पर आभार-प्रकट करने वाले0 लाल झंडे लगाए गए हैं। साइखांग पुलिस सेवा स्टेशन के जिम्मेदार व्यक्ति जाशी डोर्ची ने कहा कि पहले घर वाले उन्हें और उनके काम को नहीं समझते थे। क्योंकि वे काम के लिए रोज़ बहुत देर तक घर वापस लौटते थे। लेकिन आज परिजन उनका समर्थन करते हैं। इसकी चर्चा में जाशी डोर्ची ने कहा:
"शुरु में परिजन मुझे नहीं समझते थे। लेकिन आज स्थिति बदल गई है। परिजनों के कई मित्र कभी कभार उनसे कहते हैं कि पुलिस सेवा स्टेशन की स्थापना किये जाने के बाद ल्हासा में सामाजिक सुरक्षा की स्थिति पहले से बेहतर हुई है। सब कुछ ठीक हो रहा है। इस तरह वे धीरे-धीरे हमें समझने लगे।"
तिब्बत की राजधानी ल्हासा की छोटी-बड़ी सड़कों पर स्थापित 110 पुलिस सेवा स्टेशन ल्हासा शहर के मिश्रित प्रबंधन जाल का अहम भाग है। पुलिस सेवा स्टेशनों से विभिन्न स्थलों में सेवा और प्रबंधन कार्य का एक-एक जाल बनाया गया है। इसके आधार पर"3 मिनटों के भीतर पुलिस सेवा उपलब्ध" वाली सुविधा मुहैया करवाते हैं। मतलब है कि 500 से 600 मीटर की दूरी, यहां तक कि 10 से 15 मीटर की दूरी वाले दायरे में नागरिकों को पुलिस सेवा प्रदान की जाती है। पुलिस स्टेशनों की सेवा से नागरिकों को सुविधा मिलती है। उन्हें शहर में रहना बहुत सुरक्षित लगता है।