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संडे की मस्ती 2014-07-27
2014-07-28 16:52:07 cri

अखिल- आपका एक बार फिर स्वागत है मनोरंजन की डबल डोज कार्यक्रम संडे की मस्ती में।

दोस्तों, अभी तक एटीएम का मतलब आप ऑल टाइम मनी ही जानते होंगे। 5-10 मिनट लाइन में खड़े रहकर आप बैंक से पैसे निकालने के टेंशन से मुक्त रहते हैं। कहीं भी, कभी भी एक छोटे से कार्ड में पैसे लेकर घूम सकने की आजादी आजकल हर किसी की पसंद है। पर अभी तक आपने एटीएम से पैसे की जगह पानी निकलना शायद नहीं देखा होगा।

सोचिए अगर कभी ऐसा हो कि आपने आपने कार्ड डाला, ट्रांजैक्शन किया, अकाउंट से पैसे भी डिडक्ट हुए लेकिन अचानक आप हाथ बढ़ाते हैं तो वहां पैसा नहीं, पानी आ रहा होता है। शायद तब आपको एक छोटा सा हार्ट अटैक आ जाए लेकिन पर उत्तर-पश्चिमी दिल्ली वासियों के लिए यह हार्ट अटैक नहीं बल्कि खुश होने की बात है।

दिल्ली का यह इलाका बेहद गरीब है और पानी की कमी यहां की आम समस्या है। पानी के लिए जल बोर्ड द्वारा लाए उपलब्ध कराए गए वाटर टैंक पर निर्भर रहना यहां लोगों की मजबूरी थी। पर अब ऐसा नहीं है। लोग पानी की जरूरत पड़ने पर कार्ड लेकर एटीएम मशीन जाते हैं और जितनी जरूरत हो पानी निकाल लाते हैं। कोई सरप्राइज हो सकता है कि एटीएम मशीन से पानी? लेकिन यह सच है।

दिल्ली के इस इलाके में पहली बार एक गैर-सरकारी संस्था सर्वजल ने सोलर-पॉवर्ड वाटर एटीएम लगाया है। हर एटीएम मशीन में 500 लीटर क्षमता पानी काउंटर लगाए गए हैं। इलाके के लोगों को एटीएम कार्ड की तरह ही एक कार्ड उपलब्ध कराया गया है। इलाके के सर्विस सेंटर में इस कार्ड में 50-100 रु से कार्ड रिचार्ज करवाया जा सकता है। इस कार्ड के लिए एक नंबर दिया गया है। पानी की जरूरत पड़ने पर इस वाटर एटीएम में कार्ड डालकर साधारण मनी-एटीएम की तरह ही स्क्त्रीन पर आए ऑप्शंस (जिनमें कितने लीटर पानी निकालना है या कितने रु का पानी निकालना है आदि ऑप्शंस होते हैं) में एक को चुनना होता है। इसके बाद चुने गए ऑप्शंस के अनुसार नीचे लगाई गए बरतन या बॉटल में पानी आ जाता है।

इलाके के लोग इस व्यवस्था से बेहद खुश हैं। पहले वे पानी के लिए पूरी तरह जल बोर्ड के वाटर टैंक पर ही निर्भर थे लेकिन अब कभी भी जरूरत पड़ने पर वे कार्ड से पानी निकाल सकते हैं। एक बार में इस एटीम से 20 लीटर पानी निकाला जा सकता है जिसमें एक लीटर पानी के लिए मात्र 30 पैसे कटते हैं। मशीन में कार्ड डालने पर पानी का लीटर ऑप्शन चुनने के बाद कार्ड से उसके अनुसार पैसे अपने आप कट जाते हैं और पानी आ जाता है। कई बार लोग बॉटल में भी सिर्फ पीने के लिए इससे पानी लेकर जाते हैं।

अब तक ऐसे सोलर-पॉवर्ड वाटर एटीम दिल्ली नॉर्थ-वेस्ट दिल्ली के 14 इलाकों में लग चुका है। इसके 8000 कार्ड भी बंट चुके हैं जिससे 8500 परिवार लाभ ले ले रहे हैं। दिल्ली जल बोर्ड अब अन्य इलाकों में भी ऐसे वाटर एटीएम लगाने की तैयारी कर रहा है। तो अब वह दिन दूर नहीं जब पानी नहीं आने पर आप कार्ड देकर किसी से कहें कि जा एटीएम से जरा इतने लीटर पानी निकाल आ! सुनने में थोड़ा अजीब लेकिन सच है यह।

लिली- अखिल जी, मैं यहां हमारे श्रोता दोस्तों को बताना चाहूंगी कि पेईचिंग में भी इस तरह के Water Vending Machines लगी हुई हैं। जब लोग चाहे पानी ले सकते हैं।

अखिल- जी हां लिली जी। आपने एकदम सही कहा है। पेइचिंग में हर जगह इस तरह की व्यवस्था की हुई है।

चलिए दोस्तों.. मैं अब आपको एक ऐसी कहानी सुनाता हूं जो हमें शुभ और अशुभ का आभास कराती है।

एक बार एक महिला ने स्वामी विवेकानंद से कहा, 'स्वामी जी, कुछ दिनों से मेरी बायीं आंख फड़क रही है। यह कुछ अशुभ घटने की निशानी है। कृपया मुझे कोई ऐसा तरीका बताएं जिससे कोई बुरी घटना मेरे यहां न घटे।' उसकी बात सुन विवेकानंद बोले, 'देवी, मेरी नजर में तो शुभ और अशुभ कुछ नहीं होता। जब जीवन है तो इसमें अच्छी और बुरी दोनों ही घटनाएं घटित होती हैं। उन्हें ही लोग शुभ और अशुभ से जोड़ देते हैं।' महिला बोली, 'पर स्वामी जी, मैंने अपने पड़ोसियों के यहां देखा है कि उनके घर में हमेशा शुभ घटता है। कभी कोई बीमारी नहीं, चिंता नहीं। जबकि मेरे यहां आए दिन कुछ न कुछ अनहोनी घटती रहती है।'

इस पर स्वामी जी मुस्करा कर बोले, 'शुभ और अशुभ तो सोच का ही परिणाम है। कोई भी ऐसी वस्तु नहीं है जिसे केवल शुभ ही शुभ या केवल अशुभ कहा जा सके। जो आज शुभ मालूम पड़ती है, वही कल अशुभ हो सकती है। जैसे एक कुम्हार ने बर्तन बनाकर सुखाने के लिए रखे हैं और वह तेज धूप की कामना कर रहा है ताकि बर्तन अच्छी तरह सूखकर पक जाएं, दूसरी ओर एक किसान वर्षा की कामना कर रहा है ताकि फसल अच्छी हो। ऐसे में धूप और वर्षा जहां एक के लिए शुभ है, वहीं दूसरे के लिए अशुभ। यदि वर्षा होती है तो कुम्हार के घड़े नहीं सूख पाएंगे और यदि धूप निकलती है तो किसान की फसल अच्छी तरह नहीं पकेगी। इसलिए व्यक्ति को शुभ और अशुभ का ख्याल छोड़कर केवल अपने नेक कर्मों पर ध्यान लगाना चाहिए। तभी जीवन सुखद हो सकता है।'

लिली- वाह... बहुत ही अच्छा संदेश छिपा है इस कहानी में। यह बात बहुत अच्छी लगी की हमें शुभ और अशुभ का ख्याल छोड़कर केवल अपने नेक कर्मों पर ध्यान लगाना चाहिए। तभी जीवन सुखद हो सकता है।'

अखिल- दोस्तों, आज हम आपको बहुत महत्वपूर्ण बात बताने जा रहे हैं। हम आशा करते हैं कि आप इस बात का जरूर ख्याल रखेंगे।

अगर आप रात में गाड़ी चला रहे हैं और कोई आपके WINDSCREEN पर अंडे फेंके तो कार को चैक करने के लिए गाड़ी को रोकें नहीं, और वाइपर भी न चलाए और किसी भी तरह का पानी विंडस्क्रीन पर ना डाले, क्योंकि अंडे के साथ मिश्रित पानी दूधिया बन जाता है और आपकी दृष्टि को 92.5% तक के लिए ब्लॉक कर देता है और फिर आपको मजबूरन गाड़ी को सड़क के बगल में बंद करना पड़ता है और फिर आप पहले से घात लगाये बैठे अपराधियों का शिकार बन जाते है। यह एक नई तकनीक है इसका प्रयोग आजकल हाईवे पे अपराधिक गिरोहो द्वारा किया जाता है। हम उम्मीद करते हैं कि आप इस बात का जरूर ध्यान रखेंगे और दोस्तों और रिश्तेदारों को जरुर सूचित करेंगे।

लिली- अभी हम सुनते हैं एक अगला गाना... उसके बाद शुरू हो जाएगी हंसगुल्लों की बौछार।

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