中美战略经济对话
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पांचवीं चीन-अमेरिका रणनीतिक और आर्थिक वार्ता 10 जुलाई को अमेरिका की राजधानी वाशिंगटन में शुरू हुई। वार्ता की अध्यक्षता चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग के विशेष प्रतिनिधि एवं उप प्रधानमंत्री वांग यांग, स्टेट कौंसुलर यांग चे छी और अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के विशेष प्रतिनिधि एवं विदेश मंत्री जॉन केरी और वित्त मंत्री जैकब ल्यू ने की। अमेरिकी उप राष्ट्रपति जो बिडेन ने उद्घाटन समारोह में भाषण दिया।
वर्तमान वार्ता पिछले महीने शी चिनफिंग और बराक ओबामा की मुलाकात के बाद दोनों देशों के बीच हो रही एक और उच्च स्तरीय आवाजाही है। दोनों पक्षों ने बातचीत मजबूत कर नेताओं द्वारा संपन्न देशों के बीच नए तरह के संबंध स्थापित करने की सहमति कार्यांवित करने की अपील की।
चीनी उप प्रधानमंत्री वांग यांग ने कहा कि वार्ता समाज का विकास करने का अहम तरीका है। उन्होंने कहा-
"हम वार्ता करना चाहते हैं, अलग आवाज सुनना चाहते हैं और सही विचार स्वीकार करना चाहते हैं। क्योंकि हम वैश्वीकरण के दौर से गुजर रहे हैं। अलग-अलग विचार सुनने से हम विकास में मौजूद समस्याओं का पता लगा सकते हैं और इसके चलते हमारी कार्यशैली में सुधार हो सकेगा। लेकिन जो भी विचार हमारे देश के हित को नुकसान पहुंचाता है, हम उसे स्वीकार नहीं करेंगे। हमारा यह रुख अमेरिका के बराबर है।"
वांग यांग ने कहा कि पिछले महीने शी चिनफिंग और बराक ओबामा ने कैलिफ़ोर्निया के अन्नेनबर्ग एस्टेट में भेंट की। दोनों ने नए तरह के चीन-अमेरिका संबंध स्थापित करने पर अहम सहमति हासिल की, जिससे द्विपक्षीय संबंधों के विकास की दिशा तय हुई। वर्तमान चीन-अमेरिका रणनीतिक और आर्थिक वार्ता का एक महत्वपूर्ण लक्ष्य इस अहम सहमति को ठोस उपलब्धि के रूप में बदलना है, ताकि दोनों देशों व उनकी जनता को फायदा मिल सके।
वहीं वांग यांग ने आर्थिक क्षेत्र में चीन और अमेरिका के बीच मौजूद गलतफहमी और मतभेद की बात भी स्वीकार की। लेकिन उन्होंने कहा कि इन अंतरविरोधों का समाधान वार्ता के जरिए किया जाना चाहिए। वांग यांग ने कहाः
"हमारा काम वार्ता के जरिए मतभेदों का निपटारा करना है, ताकि आर्थिक मुद्दा राजनीतिक रूप न ले। चीन-अमेरिका संबंधों के सतत विकास का आधार मतभेदों से प्रभावित नहीं होगा।"
चीनी स्टेट कौंसुलर यांग चे छी ने कहा कि अब चीन और अमेरिका इतिहास के नए दौर में खड़े हैं। नई स्थिति और नए मौकों के सामने द्विपक्षीय रणनीतिक और आर्थिक वार्ता का नया कर्तव्य है। उन्होंने आशा जताई कि दोनों देश पहले की मैत्री को आगे बढ़ाने के साथ साथ वर्तमान वार्ता में उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल करने को बढ़ावा देंगे, ताकि चीन-अमेरिका सहयोग और आगे बढ़ सके।
अमेरिकी उप राष्ट्रपति जो बिडेन ने उद्घाटन समारोह में कहा कि अमेरिका और चीन दोनों प्रभावशाली देश हैं। अमेरिका-चीन संबंध दुनिया में सबसे अहम द्विपक्षीय संबंध हैं। दोनों देशों के बीच प्रतिस्पर्द्घा के साथ साथ सहयोग भी मौजूद है। जो बिडेन ने कहाः
" रणनीतिक और आर्थिक वार्ता द्विपक्षीय संबंधों के निपटने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। अगर हम द्विपक्षीय संबंधों का उचित निपटारा कर सकते हैं, तो हमारा एक सुंदर भविष्य तैयार हो सकेगा।"
अमेरिकी विदेश मंत्री जॉन केरी ने कहा कि बड़े देश होने के नाते अमेरिका और चीन को वैश्विक दृष्टिकोण से वार्ता और सहयोग मजबूत करना चाहिए। वर्तमान रणनीतिक और आर्थिक वार्ता मील का एक पत्थर है। आशा है कि दोनों देश संपर्क और आपसी समझ मजबूत कर मतभेदों का उचित समाधान कर सकेंगे।
अमेरिकी वित्त मंत्री जैकब ल्यू ने कहा कि अमेरिका और चीन दुनिया में दो बड़ी आर्थिक शक्तियां हैं। दोनों देशों की अर्थव्यवस्था दुनिया पर प्रभाव डालेंगी। आशा है कि अमेरिका और चीन बेहतर सहयोग करने के साथ साथ द्विपक्षीय व्यापार का संतुलित विकास करेंगे और विभिन्न चुनौतियों का मिलजुलकर मुक़ाबला करेंगे।