पिछले दो महीनों में हैज़े के कारण यमन में लगभग 1400 लोगों की मौत हो गई, जबकि संदिग्ध मामलों की कुल संख्या 2.18 लाख से अधिक तक जा पहुंची। विश्व स्वास्थ्य संगठन यानी डब्ल्यूएचओ ने 27 जून की रात अपने ट्विटर पेज पर यह जानकारी दी।
इसके पहले डब्ल्यूएचओ की महानिदेशक मार्गरेट चान और संयुक्त राष्ट्र बाल फंड के कार्यकारी निदेशक एंथनी लेक ने डब्ल्यूएचओ की आधिकारिक वेबसाइट पर संयुक्त बयान जारी किया कि हर दिन यमन में संदिग्ध मामलों की संख्या 5000 की औसत रूप से बढ़ रही है। वर्तमान में हम दुनिया में सबसे गंभीर हैज़े का सामना कर रहे हैं।
डब्ल्यूएचओ के आंकड़ों के अनुसार इस अप्रैल में यमन में हैज़े का फैलना शुरू हुआ है। ये मुख्य महामारी क्षेत्र उत्तरी यमन में हैं, जिनपर हूती उग्रवादियों का कब्ज़ा है। वर्तमान तक कम से कम 76 लाख लोग महामारी क्षेत्रों में रहने को मजबूर हैं। इनमें से 30 लाख लोग बेघर हैं। लंबे समय से कुपोषण के कारण ये लोग अतिसंवेदनशील समूह बन गए हैं। इसके अलावा इन क्षेत्रों में मंदी होने के कारण पिछले 10 महीनों में लगभग 30 हज़ार स्थानीय स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं ने अपना वेतन नहीं मिला है।
(हैया)