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    ताई जाति के मशहूर संगीतकार वेई मिंगरू
    2016-11-10 19:08:14 cri

    ताई ओपेरा"हाई हान"के मुख्य पात्र जिन पाओ

    ताई जातीय संगीत की रस पूरी तरह दिखाने के लिए ताई जाति के पारंपरिक जातिय वाद्ययंत्र की आवश्यकता है। आम तौर पर हूलूसी, हाथी पैर पियानो और हार्न्स पियानो आदि वाद्ययंत्र का प्रयोग किया जाता है। इनके अलावा वेई मिंगरू कभी-कभार पश्चिमी तार वाद्ययंत्र के तत्वों को अपनी रचनाओं में शामिल करते हैं। ताई ओपेरा"हाई हान"के लिए धुन रचना के दौरान उन्होंने इस प्रकार का वाद्ययंत्र का इस्तेमाल किया। ताई ओपेरा"हाई हान"के मुख्य पात्र, ताई ओपेरा के उत्तराधिकारी जिन पाओ ने जानकारी देते हुए कहा कि"हाई हान"ताई जाति के युद्ध को विषय बनाकर बनाया गया ताई ओपेरा का नाटक है। इसकी प्रस्तुति के दौरान पश्चिमी तार वाद्ययंत्र के प्रयोग से युद्ध के मैदान का दृश्य ज्यादा शानदार लगता है। इसका परिचय देते हुए जिन पाओ ने कहा:"हाई हान की आवाज़ बहुत ऊंची और स्पष्ट थी। लोग उसके गाने की आवाज़ सुनने के दौरान खेती में कर रहे काम को रोक देते थे और उसके आह्वान का पालन करते थे। युद्ध के मैदान में जब कभी हाई हान गीत गाता था, तो शत्रुओं के हथियार बहुत भारी हो जाते थे, और कमान से तीर बाहर नहीं निकल पाते थे। गुरु वेई मिंगरू ने इस नाटक की धुन रचने में नया तरीका अपनाया है। लेकिन इसमें बुनियाद तत्वों से अलग नहीं हो सकता। (...गाते हुए) सब लोग आओ, आनंद लो। नाचो और गाओ।"

    अधिक श्रोताओं को ताई गीत समझाने और ताई संगीत को विरासत के रूप में ग्रहण करते हुए उसका आगे विकास करने के लिए वेई मिंगरू ने ताई गीतों के बोल को चीनी हान भाषा के शब्दों में डाला। इन गीतों में ताई जातीय गीतों की विशेषता सुरक्षित करने के साथ-साथ नवाचार करके प्रसार भी करना है। इस तरह ताई जातीय संगीतकारों के सामने नई चुनौती मौजूद है। ताई जाति की फिल्म"मंग लोंगशा"का मुख्य गीत"एक सुन्दर जगह"देश भर में बहुत लोकप्रिय है। इसका कारण गीत की धुन की मधुरता के अलावा, ताई जाति की शैली को अच्छी तरह सुरक्षित करना भी है।

    अब आप सुन रहे हैं फिल्म"मंग लोंगशा"का प्रमुख गीत"एक सुन्दर जगह"। गीत के बोल कुछ इस प्रकार है:

    एक सुन्दर जगह है, जहां ताई जाति के लोग रहते हैं

    गांव में एक-एक मकान जोड़ता हैं घनिष्ठ

    नदी का पानी है साफ़ और स्वच्छ

    एक मोर है उड़ते आया ड्रैगन पेड़ के ऊपर

    सुन्दर मोर है पहुंचाता खुशी और सुख

    ताई जाति के स्थल पर आकर तुम

    हर जगह पर फैलती है खिलते फूलों की खुशबू

    बंजर भूमि पर लगाए गए हैं हरे-हरे पेड़-पौधे

    घास का मैदान है बदल गया चरागाह

    सफेद-सफेद कपास भेजता है भीतरी इलाके तक

    नमक और कपड़े हैं वहां से हमारे यहां तक पहुंचाता

    लड़कियां पहनती हैं रंग-बिरंगे वस्त्र

    लग रहा है तितली विस्तार करती है रंगारंग पंख

    ताई जातीय संगीत रचने की चर्चा करते हुए वेई मिंगरू ने कहा:"जातीय संगीत रचना एक कठिन कार्य है। ताई जाति की शैली नहीं छोड़ी जाने के साथ-साथ इसमें नवाचार भी करना चाहिए। आम नागरिकों की पसंदीदा की प्राप्ति के लिए भी मुश्किल है। वर्तमान में ऐसी स्थिति सामने आती है कि कुछ गायक हांगकांग और मकाओ जैसे क्षेत्रों में लोकप्रिय रहे पॉप गीतों की धुन को ताई भाषा के बोल को जोड़कर गाते हैं। हालांकि कला का विकास विविधतापूर्ण और स्वतंत्र है, लेकिन हमेशा ऐसा करने से जातीय जड़ समाप्त हो जाएगा, यहां तक कि पूरी तरह नष्ट हो जाएगा।"

    पिछले दर्जनों वर्षों में ताई जाति के संगीतकार वेई मिंगरू संगीत रचने में लगे हुए हैं। उन्हें आशा है कि भविष्य में युवा लोगों को संगीत की जानकारी अच्छी तरह सीखने के आधार पर संगीत रचने के दौरान आधूनिक तरीके का इस्तेमाल करने के साथ-साथ गहरी जातीय शैली भी बरकरार रखेंगे। इस प्रकार के गीत ताई संगीत के जड़ को सुरक्षित रखेंगे।


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