शुक्रवार 13 सितम्बर को बिश्केक में शांगहाई सहयोग संगठन के शिखर सम्मेलन संबंधी चीनी प्रतिनिधि मंडल के प्रेस केंद्र में आयोजित एक न्यूज ब्रीफिंग में चीन के उपविदेश मंत्री छंग क्वोफिंग ने चीनी राष्ट्राध्यक्ष शी चिनफिंग की तुकमानिस्तान, कजाकिस्तान, उजबेकिस्तान और गिरकिस्तान जैसे 4 मध्य एशियाई देशों की यात्रा और बिश्केक में हुए शांगहाई सहयोग संगठन के खिशर सम्मेलन में प्राप्त उपबल्धियों की जानकारी दी।
छंग क्वोफिंग ने कहा कि मध्य एशिया के उक्त 4 देशों की शी चिनफिंग की पहली यात्रा और शांगहाई सहयोग संगठन के शिखर सम्मेलन में उन की उपस्थिति भारी ऐतिहासिक महत्व रखती है और चीन एवं मध्य एशियाई देशों के बीच परंपरागत मैत्री को मजबूत करने, विभिन्न क्षेत्रों में आपसी लाभ वाले सहयोग को गहराई में चलाने और शांगहाई सहयोग संगठन के स्वस्थ एवं स्थिर विकास को बढावा देने के लिए भी अत्यंत महत्वपूर्ण है।
छंग क्वोफिंग के अनुसार शी चिनफिंग की इस यात्रा की कार्यसूची विविध और बहुविषयक है। यात्रा में बहुत सी कामयाबियां हासिल हुई हैं, जो निम्न 5 बिन्दुओं में दिखाई दी हैं। एक, चीन और मध्य एशियाई देशों के बीच रिश्तों के स्तर को व्यापक तौर पर ऊंचा किया गया है। दो, मध्य एशिया के प्रति चीन की कूटनीति का चतुर्मुखी स्पष्टीकरण किया गया है। तीन, चीन और मध्य एशियाई देशों के बीच व्यावहारिक सहयोग के गहन विकास को नया बढावा दिया गया है। चार, ऊर्जा के क्षेत्र में सहयोग में भारी प्रगति की गई है और पांच, रणनीति एवं सुरक्षा के क्षेत्र में सहयोग को और अधिक मजबूत बनाया गया है।
छंग क्वोफिंग का कहना है कि बिश्केक में शांगहाई सहयोग संगठन के शिखर सम्मेलन के दौरान शी चिनफिंग ने सभी संबंधित बैठकों, दस्तावेजों पर हस्ताक्षर की रस्मों और संवाददाता-सम्मेलनों में भाग लिया तथा ताजिकस्तान के राष्ट्रपति, ईरान के राष्ट्रपति एवं मंगोलिया गणराज्य के राष्ट्रपति से भी द्विपक्षीय वार्ता की। शांगहाई सहयोग संगठन के शिखर सम्मेलन में उपस्थित राजाध्यक्षों ने विभिन्न क्षेत्रों में इस संगठन के सहयोग की स्थिति और सहयोग में अर्जित अनुभवों की समीक्षा की, संगठन के सामने मौजूद चुनौतियों का विश्लेषण किया, प्रमुख अंतर्राष्ट्रीय एवं क्षेत्रीय मसलों पर व्यापक एवं गहन रूप से विचार-विनिमय किया और संगठन के अगले दौर के कार्यो का बंदोबस्त किया।
छंग क्वोफिंग ने विचार व्यक्त किया कि इस शिखर सम्मेलन में निम्न 3 प्रमुख उपलब्धियां हासिल हुई हैं। पहली है कि शांगहाई सहयोग संगठन के सदस्य देशों ने दुनिया के समक्ष क्षेत्रीय सुरक्षा एवं स्थिरता बनाए रखने, क्षेत्रीय विकास एवं समृद्धि को बढावा देने, और अधिक न्यायोजित एवं युक्तिसंगत अंतर्राष्ट्रीय व्यवस्था बनाने, वैश्विक शांति एवं विकास के कार्य को बल देने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई है। दूसरी उपलब्धि है कि इस शिखर सम्मेलन में अनुमोदित मैत्री एवं सहयोग-संधि के अमलीकरण संबंधी नया कार्यक्रम शांगहाई सहयोग संगठन के सदस्य देशों में राजनीतिक विश्वास को नया बढावा देने और ठोस सहयोग को गहराने का मार्गदर्शन वाला दस्तावेज बनेगा। तीसरी है कि चीन ने शिखर सम्मेलन में शांगहाई सहयोग संगठन की पड़ोसियों जैसी मैत्री एवं सहयोग संबंधी कमेटी की स्थापना की घोषणा की। इस संगठन के भावी विकास के लिए जरूरी सामाजिक आधार को मजबूत बनाने का यह चीन का अहम निर्णय है।
छंग क्वोफिंग ने यह भी कहा कि बिश्केक शिखर सम्मेलन के बाद चीन शांगहाई सहयोग संगठन के अन्य सदस्य देशों के साथ मिलकर राजाध्यक्षों में बनी सहमतियों को मूर्त रूप देने की कोशिश करेगा और वर्तमान अध्यक्ष-देश ताजिकस्तान का सभी संबंधित कामों में पूरा समर्थन करेगा।