चीन सरकार ने दस अप्रैल को जारी एक योजना में जताया है कि चीन परिवार नियोजन नीति पर कायम रहकर निम्न जन्म दर बनाये रखेगा और आगामी 2015 तक समूचे देश की कुल जनसंख्या एक अरब 39 करोड़ पर नियंत्रण कर देगा । संबंधित विशेषज्ञों ने इस बात की चर्चा करते हुए कहा कि चीन की कुल जनसंख्या का लक्ष्य प्राप्त करने में कोई दिक्कत नहीं है , लेकिन जनसंख्या संरचना में और सुधार करना फिर भी कठिन है ।
राष्ट्रीय जन संख्या विकास के बारे में 12वीं पंचवर्षीय योजना में आगामी 2015 से पहले चीनी जनसंख्या विकास की मूल धारणा , विकास लक्ष्य और कार्य प्राथमिकता को स्पष्टतः सुनिश्चित किया गया है । इस योजना में कहा गया है कि 12वीं पंचवर्षीय योजना का काल चीनी जनसंख्या विकास का बड़ा मोड़ आने वाला काल है , आर्थिक व सामाजिक विकास पर कुल जनसंख्या में वृद्धि बनी रहने का दबाव फिर भी मौजूद है , जनसंख्या आर्थिक , सामाजिक और संसाधन पर्यावरण को और गम्भीर रुप से प्रभावित करेगी । चीन निम्न जन्म दर को बनाये रखकर 2015 में समूचे देश की कुल जनसंख्या एक अरब 39 करोड़ के भीतर नियंत्रित कर लेगा ।
इस विकास लक्ष्य को लेकर हमारे संवाददाता ने चीनी सामाजिक अकादमी के जनसंख्या व श्रम आर्थिक अनुसंधान प्रतिष्ठान के अनुसंधानकर्ता चांग ई से इंटरव्यू लिया । चांग ई का ख्याल है कि चीन की वर्तमान जन संख्या वृद्धि प्रवृति के मद्देनजर कुल जनसंख्या का लक्ष्य प्राप्त करने का कोई सवाल नहीं उठता । जनसंख्या की जन्म दर में गिरावट परिवार नियोजन नीति और सामाजिक व आर्थिक विकास के कारणों से हुई है । सारी दुनिया की दृष्टि से देखा जाये , जब देश के शहरीकरण और प्रशिक्षण का स्तर निश्चित हद तक बढ़ जाता है , तो जन्म दर अवश्य ही गिर जाती है । मसलन जापान , कोरिया गणराज्य और जर्मनी आदि देशों ने इसी प्रवृति की पुष्टि की है ।
सार्वजनिक नयी जनसंख्या विकास योजना से पता चला है कि 2005 से 2010 तक चीन की जन्म दर स्थिर बनी हुई है , महिलाओं की कुल प्रजनन दर 1.8 के नीचे बरकरार रही है , जनसंख्या की प्राकृतिक वृद्धि दर 0.6 प्रतिशत के भीतर बनाये रखी हुई है , 2010 के अंत तक चीन की कुल जनसंख्या एक अरब 34 करोड़ दस लाख हो गयी ।
योजना में जोर देकर कहा गया है कि आइंदे चीन निम्म जन्म दर स्थिर बनाये रखने से जुड़ने वाली आर्थिक व सामाजिक नीतियों को संपूर्ण बनाने और कानूनी तौर पर परिवार नियोजन की प्रोत्साहन नीति को पूरी तरह अमल में लाने को संकल्पबद्ध है । इस के अलावा चीन रोजगार , सामाजिक गारंटी , गरीबी उन्मूलन और भूमि वसूल मुआवजा आदि क्षेत्रों में परिवार नियोजन नीति अपनाने वाले परिवारों को और रियायती नीति निर्धारित करेगा ।
योजना में भावी चीनी जनसंख्या का वितरण लक्ष्य और जनजीवन गारंटी लक्ष्य पेश किया गया है और शहरीकरण दर बढाने और जनसंख्या का उचित वितरण करने पर भी जोर दिया गया है । इस के साथ ही सामाजिक रोजगार व्यापक रुप से दिलाने और शहरों व कस्बों की पंजीकृत बेरोजगारी दर 5 प्रतिशत तक बनाये रखने और शहरी व टाऊनशिप वासियों की आय बड़ी हद तक बढाने और पारिवारिक विकास क्षमता मजबूद बनाने की पूरी कोशिश की जायेगी . चांग ई ने इस बात का उल्लेख करते हुए कहा कि चीन में शहरीकरण दर बढाने का कुंजीभूत सवाल किसान मजदूर सवाल का अच्छी तरह समाधान करना ही है ।
शहरों में किसान मजदूरों की दरिद्रता और भेदभाव से शहरी व ग्रामीण अलगाव उत्पन्न हुआ है , जिस से चीनी समाज के स्थिर विकास पर नकारात्मक प्रभाव पड़ गया है ।
महिलाओं की तुलना में पुरुषों को ज्यादा महत्व देने वाली पारंपरिक अवधारणा जैसे कारणों से चीनी जन्म आबादी का असंतुलित लींग अनुपात लम्बे अर्से से बरकरार रहा है । चीनी राष्ट्रीय सांख्यकि ब्यूरो द्वारा 2011 में जारी छठीं जनगणना के अनुसार चीनी पुरुषों व महिलाओं का अनुपात 118 व 100 है । असंतुलित लिंग अनुपात से सामाजिक विकास पर भारी कुप्रभाव पड़ गया है । योजना में इस बात को लेकर बताया गया है कि चीन भ्रूण के लिंग की अनावश्यक पहचान करने और लिंग के विकल्प के लिये गर्भावस्था स्थगित करने की कड़ी रोक लगा देगा , ताकि आगामी 2015 में चीनी जन्म आबादियों की लिंग संरचना उचित रुप से सुधर जा सके और लिंग का अनुपात 115 के नीचे गिर जाये । चांग ई ने कहा कि यह आबादीकार्य के सामने मौजूद कठिन कामों में से एक है ।
उन का कहना है कि यदि मूल तंत्र बना रहेगा और चीनी प्रसव के नजरिये और भ्रूण का लिंग चुनने के तरीके न बदलेंगे , तो पुरुषों व नारियों का अनुपात 115 तक घटाने के लिये बहुत ज्यादा काम करना अत्यावश्यक है ।