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    टी टाइम 170511
    2017-05-11 19:35:44 cri

    टी-टाइम

    अनिलः टी-टाइम के नए अंक के साथ हम फिर आ गए हैं,आपका मनोरंजन करने। जी हांआपके साथ चटपटी बातें करेंगे और चाय की चुस्कियों के साथ लेंगे गानों का मजा 25 मिनट के इस प्रोग्राम में। इसके साथ ही प्रोग्राम में श्रोताओं की प्रतिक्रियाएं भी होंगी शामिल। तो जल्दी से हो जाइए तैयार।

    लीजिए प्रोग्राम की शुरुआत करते हैं।

    अनिलः आज के समय में इंटरनेट अपनी प्रतिभा दिखाने का सबसे अच्छा प्लेटफॉर्म है। इसी इंटरनेट की वजह से आंध्र प्रदेश की 106 वर्षीय मस्तनम्मा फेमस हो गई हैं। मस्तनम्मा भारत की सबसे बुजुर्ग यूट्यूबर हैं।

    यूट्यूब पर मस्तनम्मा के काम की खूब तारीफ होती है। यूट्यूब पर उनके चैनल का नाम है कंट्री फूड। इसे मस्तनम्मा के पोते के. लक्ष्मण चलाते हैं। वे ही उनके वीडियो यूट्यूब पर पोस्ट करते हैं।

    मस्तनम्मा कुकिंग की शौकीन हैं। उन्हें खाना बनाना बेहद पसंद है, यदि उनके वीडियोज को देखें तो काम के प्रति उनका प्यार साफ नजर आता है। वे एकदम साधारण तरह से ये सब करती हैं।

    मस्तनम्मा के चैनल में करीब 254,525 हजार सब्सक्राइबर हैं। साथ ही उनके हर वीडियो पर व्यूज भी खासी संख्या में हैं। उनके कई वीडियोज को तो एक मिलियन से भी अधिक बार देखा गया है।

    कंट्री फूड चैनल पर आपको मस्तनम्मा की शानदार रेसिपीज भी मिल जाएंगी। मस्तनम्मा को प्यार से सभी ग्रैनी कहते हैं। वे इसी नाम फेमस भी हैं। अब ग्रैनी अपने गांव की ही नहीं बल्कि यूट्यूब जगत की भी स्टार बन गई हैं।

    नीलमः अब वक्त हो गया है, दूसरी जानकारी का।

    दोस्तो 29 सितंबर 1994 की रात सात साल के निकोलस ग्रीन को गोली लगी थी. वो दक्षिणी इटली में छुट्टियां बिताने गए थे. उनकी मौत उनके माता-पिता रेग और मैगी के लिए बड़ा सदमा था, लेकिन उन्होंने तय किया कि वो उनके अंगों को दान कर देंगे. उनके इस फ़ैसले के बाद इटली में अंगदान के मामले तीन गुना बढ़े हैं."मुझे ख़तरे का अहसास तब हुआ जब मुझे लगा कि एक काली कार हमारे पीछे आकर खड़ी हो गई है." रेग ग्रीन 1994 की उस रात को याद करते हैं जब उनके बेटे को अनजान लोगों ने बिना कारण गोली मार दी थी."कार हमें ओवरटेक कर के आगे जाने लगी तो मुझे लगा कुछ भी ग़लत नहीं है."

    अनिलः लेकिन आगे जाने की बजाय कार उनके पास आ कर रुक गई और रेग और मैगी ने उनके चिल्लाने की आवाज़ सुनी. उन्हें लगा वो उन्हें रोकना चाहते हैं."मुझे लगा अगर हम रुके तो ख़तरा होगा, मैंने स्पीड बढ़ा दी. उन्होंने भी ऐसा ही किया और वो हमारे बगल में चल रहे थे. फिर एक गोली हमारी कार की खिड़की को चीरकर निकली. मैगी ने मुड़कर देखा दोनों बच्चे सो रहे थे."

    ग्रीन कहते हैं "दरअसल इलियानोर तो सो रही थी लेकिन निकोलस के सिर पर गोली लगी थी. हमलावरों के कार का शीशा टूट गया और वो तुरंत वहां से भाग गए."

    88 साल के रेग ग्रीन याद करते हैं, "मैंने कार रोकी और बाहर निकला. कार के भीतर निकोलस नहीं हिल रहा था. मैंने नज़दीक से देखा तो उसकी जीभ बाहर निकली हुई थी और उसकी पेट का थोड़ा सा खाना बाहर निकल कर ठुड्डी पर लग गया था."

    नीलमः इस घटना के बारे में रेग की किताब 'द निकोलस एफेक्ट' पर 'निकोलस गिफ़्ट' नाम से एक फ़िल्म बनाई गई जिसमें जेमी लसी कर्टिस और ऐलन बेट्स ने काम किया था। रेग कहते हैं, "पहली बार लगा कि कुछ बेहद भयानक हो गया है. उसे उस हालत में देखने से ज़्यादा दुखदायी कुछ नहीं था."

    अनिलः अब समय हो गया है फिल्मी ख़बर का

    एस. एस. राजमौली की फिल्म 'बाहुबली-2' के रिकार्ड बनाने का सिलसिला जारी है। फिल्म का कलेक्शन सप्ताह भर से ज्यादा गुजरने के बावजूद थमता नहीं दिख रहा है। फिल्म के रिलीज होने के बाद कलेक्शन में ज्यादा गिरावट दर्ज नहीं की गर्इ है और अब भी सिनेमाघरों में ये फिल्म लोगों को अपनी ओर खींच रही है।

    एक फिल्मी वेबसाइट के मुताबिक, फिल्म ने दुनिया भर में करीब 925 करोड़ रुपए की जबरदस्त कमार्इ की है और अब फिल्म जल्द ही एक हजार करोड़ रुपए कमाने का आंकड़ा पार कर लेगी। वेबसाइट के मुताबिक भारत में फिल्म ने नेट 587 करोड़ रुपए कमाए हैं, वहीं विदेशों में ये फिल्म 180 करोड़ रुपए का कलेक्शन कर चुकी है।

    वहीं फिल्म समीक्षक तरण आदर्श का कहना है कि फिल्म के हिंदी वर्जन ने 266.75 करोड़ रुपए की कमार्इ की है। पहले हफते की कमार्इ के लिहाज से देखें तो ये फिल्म बालीवुड के दूसरे स्टार्स के आगे कहीं नहीं टिकती है। जहां सुल्तान ने पहले हफते में 197.54 करोड़ का कारोबार किया, वहीं दंगल ने 229.16 करोड़ कमाए, जबकि बाहुबली-2 के हिंदी वर्जन ने ही पहले सप्ताह में 247 करोड़ रुपए की जबरदस्त कमार्इ की है। बाहुबली-2 ने दंगल और पीके के दुनियाभर में कमार्इ के रिकार्ड को पहले ही तोड़ दिया है। पीके ने अब तक 792 करोड़ और दंगल ने 740 करोड़ रुपए की कमार्इ की है। उम्मीद की जा रही है कि बाहुबली-2 बहुत जल्द 1000 करोड़ के आंकड़े को छू लेगी।

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    नीलमः अब बात बच्चों से जुड़ी करते हैं। आपका नन्हा शिशु अगर ज्यादा समय स्मार्टफोन, टैबलेट और स्क्रीन वाले दूसरे उपकरणों से खेलने में बिताता है, तो उसके बोलने में देरी हो सकती है। शोध से पता चलता है कि स्क्रीन वाले उपकरणों के हर 30 मिनट ज्यादा इस्तेमाल से बोलने में देरी की आशंका 49 फीसदी तक बढ़ जाती है।

    कनाडा के ओनटोरियो स्थित हॉस्पीटल फॉर सिक चिल्ड्रेन की बालरोग विशेषज्ञ कैथरीन बिरकेन का कहना है कि इन दिनों हाथ में पकडऩे वाले उपकरण (स्मार्टफोन, टैबलेट व दूसरे स्क्रीन वाले उपकरण) हर जगह मौजूद हैं। बच्चे जिद करके ले लेते हैं और उससे देर तक खेलते रहते हैं।

    बिरकेन ने कहा कि बच्चों को एक निश्चित समय तक ही स्क्रीन वाले उपकरणों का इस्तेमाल करना चाहिए। स्मार्टफोन और टैबलेट का इस्तेमाल छोटे बच्चे भी करने लगे हैं। हमारा अध्ययन बताता है कि स्क्रीन वाले उपकरण हाथ में रखने और बोलने में देरी के बीच गहरा संबंध है।

    शोध की रिपोर्ट सैन फ्रांसिस्को में हुई पिडिएट्रिक एकेडमिक सोसाइटीज की बैठक में पेश की गई। शोध करने वाली टीम ने छह महीने से लेकर दो साल की उम्र तक के 894 बच्चों का अध्ययन किया। इस शोध के परिणाम अमेरिकन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स के दिशा-निर्देश के भी अनुकूल हैं, जिसमें 18 महीने से छोटे बच्चों को किसी तरह के स्क्रीन मीडिया के प्रति हतोत्साहित करने को कहा गया है।

    अनिलः अब जानकारी एक और हेल्थ संबंधी। मुंह में छाले की समस्या के कई कारण हैं। जैसे खाने में पोषक तत्त्वों की कमी और खराब जीवनशैली। ऐसे में आंवले से जुड़े घरेलू नुस्खे अपनाकर इसे दूर किया जा सकता है। आंवला विटमिन-सी का प्रमुख स्त्रोत है। इसमें मौजूद विटामिन कभी खत्म नहीं होता। आंवले के रस में संतरे की तुलना में 20 गुना अधिक विटामिन-सी पाया जाता है।

    मुंह के छाले होने पर यदि आंवले की पत्तियों को चबाया जाए, तो छालों में आराम मिलता है। आंवले के पत्तों का काढ़ा बनाकर मुंह में कुछ देर रखने या दिन में 2-3 बार कुल्ला करने से ये ठीक हो जाते हैं।

    पेट में जलन, एसिडिटी या डायरिया की समस्या है तो बस एक आंवला ले लीजिए। या फिर एक ग्राम आंवला पाउडर में थोड़ी चीनी मिलाकर पानी या दूध के साथ ले लें तो काफी आराम मिलता है।

    दोस्तो, प्रोग्राम में जानकारी देने का सिलसिला यही संपन्न होता है। अब समय हो गया है, श्रोताओं की टिप्पणी शामिल करने का।

    नीलमः पहला पत्र हमें आया है, केसिंगा उड़ीसा से सुरेश अग्रवाल का। लिखते हैं कि

    कार्यक्रम "टी टाइम" के अन्तर्गत वैज्ञानिकों द्वारा प्रयोगशाला में विकसित मिनी ब्रेन अथवा कृत्रिम मस्तिष्क पर दी गयी जानकारी सुनने में तो अच्छी लगी, अब देखना है कि यह व्यवहार में कितनी कारगर साबित होती है। वहीं अगली जानकारी में दक्षिण अफ़्रीका में एक 61 वर्षीय महिला द्वारा 8 साल के लड़के से शादी का किस्सा रस्म अदायगी से अधिक कुछ नहीं लगा। बैटरी के बिना लैपटॉप चलाने सम्बन्धी जानकारी इसके उपयोगकर्ताओं के लिये सहायक हो सकती है।

    कार्यक्रम में आगे चीन-भारत इण्टरनेट फोरम में भाग लेने गये केतन कपूर से की गयी बातचीत सार्थक लगी। उन्होंने अपने बिज़नेस मॉड्यूल की क़ामयाबी को समझाते हुये इण्टरनेट को गेमचेंजर की उपमा दी, जो कि बिलकुल सही प्रतीत हुई। आपने कार्यक्रम में मुझ द्वारा प्रेषित ज़ोक्स को स्थान दिया, आभारी हूँ। धन्यवाद् फिर एक अच्छी प्रस्तुति के लिये।

    रोज़मर्रा की चीनी-भाषा पाठ्यक्रम के तहत मैडम श्याओ थांग तथा राकेश वत्स द्वारा -जन्मदिन मुबारक़ के बारे में सीखे गये पाठ का दोहराया जाना अच्छा लगा। धन्यवाद्।

    सुरेश जी, हमें पत्र भेजने के लिए शुक्रिया।

    अनिलः लीजिए अब पेश है, अगला पत्र, जिसे भेजा है, दरभंगा बिहार से यूनिवर्स यूथ क्लब के शंकर प्रसाद शंभू और उनके दोस्तों ने। जिनके नाम हैं, महावीर मुखिया, लाल किशोर मुखिया, अमित कुमार, अर्चना आलोक, अजित कुमार आलोक, दीपू कुमार मुखिया, अनिल कुमार, दीपक कुमार साहू, रविन्द्र कुमार गुप्ता और नरेश कुमार गुप्ता। लिखते हैं कि पिछले प्रोग्राम में मिनी मस्तिष्क के बारे में बताया गया। वहीं एक दंपति में उम्र का भारी अंतर होना। विशेषक दादी और पोते जैसा। यह घटना अजीब लगी। वहीं हिंदी गीत ये पहली बार मिले ..... अच्छा लगा ! इसके अलावा अनिल जी द्वारा केतन कपूर के साथ की गयी बातचीत बेहद पसंद आयी !

    एक बेहतरीन प्रोग्राम पेश करने के लिए बहुत शुक्रिया।

    प्रोग्राम में श्रोताओं की टिप्पणी यही संपन्न होती है। अब समय हो गया है, जोक्स यानी हंसगुल्लों का

    आज के प्रोग्राम में भी केसिंगा उड़ीसा से सुरेश अग्रवाल ने जोक्स भेजे हैं, जिन्हें हम शामिल कर रहे हैं।

    पहला जोक..

    पप्पू पर बिजली का तार गिर गया.

    पप्पू तड़प तड़प के मरने ही वाला था कि

    अचानक………..

    उसे याद आया बिजली तो 2 दिन से बंद है.

    वापस उठकर, हँसते हुए बोला,

    साला… याद नहीं आता तो मर ही जाता!

    दूसरा जोक..

    पति : आज खाना क्यों नहीं बनाया ? 😡😡

    पत्नी : गिर गई थी और लग गयी ?😞😞

    पति : कहाँ गिर गई थी और क्या लग गयी थी?😳😳

    पत्नी : तकिये पर गिर गयी थी और आँख लग गयी थी।

    तीसरा और अंतिम जोक..

    बच्चा पुरानी एल्बम देखते हुए

    मम्मी ये फ़ोटो में तुम्हारे साथ कौन है?

    मम्मी:- ये तेरे पापा है।।

    बच्चा: तो हम इस गंजे के साथ क्यों रहते है।।

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