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    आपका पत्र मिला 2015-11-11
    2015-11-16 15:33:25 cri

    अनिल:आपका पत्र मिला कार्यक्रम सुनने वाले सभी श्रोताओं को अनिल पांडे का नमस्कार।

    मीनू:सभी श्रोताओं को मीनू का भी प्यार भरा नमस्कार।

    अनिलः आज के कार्यक्रम में हम श्रोताओं के ई-मेल और पत्र पढ़ेंगे। इसके बाद एक श्रोता के साथ हुई बातचीत के मुख्य अंश पेश किए जाएंगे।

    अनिल:चलिए श्रोताओं के पत्र पढ़ने का सिलसिला शुरू करते हैं। पहला पत्र हम पढ़ते हैं ओड़िसा से हमारे मॉनिटर सुरेश अग्रवाल जी का। उन्होंने लिखा है 6 नवम्बर को सीआरआई हिन्दी का ताज़ा प्रसारण सुना और कार्यक्रम का पूरा लुत्फ़ उठाने के बाद अब मैं उस पर त्वरित टिप्पणी के साथ आपके समक्ष उपस्थित हूँ।अन्तर्राष्ट्रीय समाचारों का ज़ायज़ा लेने के बाद हमने साप्ताहिक "चीन का तिब्बत" भी ध्यानपूर्वक सुना। तिब्बत स्वायत्त प्रदेश के धुर पश्चिम में भारत और नेपाल से सटे आली प्रिफैक्चर के एक स्कूल में स्वयंसेवक बन कर आयी लड़की तंग यू छ्वेन के समर्पणभाव के बारे में जान कर बहुत अच्छा लगा कि वह समुद्रतल से औसतन 4300 मीटर की ऊंचाई पर स्थित आली प्रिफैक्चर की अपेक्षतया कठिन परिस्थितियों में महज़ 3149 युआन के वेतन पर अपनी सेवाएं देने स्वैच्छा से तैयार हुईं। हमने यह भी पहली बार जाना कि आली प्रिफैक्चर की आबादी महज़ नब्बे हज़ार है।

    कार्यक्रम में पेश एक अन्य रिपोर्ट में आली प्रिफैक्चर की पुरांग काउन्टी में सीमा व्यापार करने वाले नेपाली युवक अमन बोहरा से बातचीत किया जाना बहुत अच्छा लगा। यूरोप में पोस्ट ग्रेजुएट कोर्स पूरा न कर, पुरांग काउन्टी में सीमा व्यापार शुरू करने की बात जान कर काफी खुशी हुई। धन्यवाद एक अच्छी प्रस्तुति के लिये।

    कार्यक्रम "दक्षिण एशिया फ़ोकस" के अन्तर्गत आज वरिष्ठ पत्रकार बिजेन्द्रजी से बिहार विधानसभा चुनाव, भारत-अफ्रीका सम्मलेन की उपलब्धि, हिन्दुकुश क्षेत्र में आये भूकम्प, भारत-नेपाल सीमा पर ब्लॉकेड तथा दीवाली पर हाल-ए-दिल्ली विषयों पर उनके विचार सुनवाया जाना काफी महत्वपूर्ण किन्तु बासी-बासी लगा।

    श्रृंखला "पश्चिम की तीर्थयात्रा" की कड़ी में आज महानमनीषी के साथ चारों पशु नक्षत्रों के अन्धतत्व गुफ़ा के पास पहुँचते ही नक्षत्रों के इशारे पर वानर ने दैत्यों को ललकारना शुरू कर दिया और जैसे ही वह बाहर आये नक्षत्रों को देख कर हैरान रह गये और पूर्वोत्तर दिशा में भागने लगे। सभी छोटे दैत्य तो मारे गये, परन्तु तीनों वरिष्ठ दैत्य समुद्र में कूद गये। इधर दैत्यों का सफ़ाया होते ही सानचांग, भिक्षु रेतात्मा और शूकर को मुक्त करा गुफ़ा को आग के हवाले कर दिया गया। अब कहानी में आगे क्या होगा, देखना है। धन्यवाद।

    मीनू:सुरेश अग्रवाल जी, हमें रोजाना पत्र भेजने के लिए आपका बहुत बहुत धन्यवाद। चलिए, अगला पत्र हम पढ़ते हैं बिहार से डॉ हेमंत कुमार जी का। उन्होंने लिखा है कि गत 3 नवम्बर को सी.आर.आई हिन्दी के फेसबुक पेज पर जानकारी दी गई की खुशहाल समाज का निर्माण सुनिश्चित करेगा चीन राष्ट्रीय आर्थिक और सामाजिक विकास की 13वीं पंचवर्षीय योजना बनाने के बारे में सीपीसी केंद्रीय समिति के सुझाव के अनुसार चीन खुशहाल समाज का निर्माण सुनिश्चित करेगा। ताकि दूसरे सौ वर्षीय संघर्ष लक्ष्य को साकार कर सके और चीनी राष्ट्र के महान पुनरुत्थान के चीनी स्वप्न के लिए मजबूत आधार तैयार किया जा सके। सुझाव में कहा गया कि चीन द्वारा समय पर खुशहाल समाज के संघर्ष लक्ष्य को साकार करने और अनवरत व स्वस्थ आर्थिक व सामाजिक विकास को आगे बढ़ाने के लिए निम्न सिद्धांतों का पालन करने की जरूरत है। यानि जनता के मुख्य स्थान और वैज्ञानिक विकास पर कायम रहा जाय, सुधार को गहन करना चाहिए, कानून के अनुसार देश का प्रशासन करना चाहिए। साथ ही अंतर्राष्ट्रीय व घरेलू परिस्थिति को सही ढंग से निपटते हुए कम्युनिस्ट पार्टी के नेतृत्व पर कायम रहें। यह जानकारी पसंद आई।

    अनिल:डॉ हेमंत कुमार जी, हमें पत्र भेजने और अपनी राय हम तक पहुंचाने के लिए आपका धन्यवाद। चलिए, आगे पेश है पश्चिम बंगाल से बिधान चंद्र सान्याल जी का पत्र। उन्होंने लिखा है, यह बहुत प्रशंसा की बात है कि चीन सरकार और भारत सरकार भूकंप प्रभावित क्षेत्रों को सहायता देगी । हमें आशा है कि प्रभावित क्षेत्रों के लोगों का जीवन बेहतर होगा।

    यह बहुत प्रशंसनीय बात है कि भूकंप प्रभावित पाकिस्तान के नागरिकों को सहायता देने के लिए चीनी रेड क्रॉस सोसाइटी ने पाक रेड क्रिसेँट सोसाइटी को 1 लाख डॉलर दिए।

    वहीं चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की 18 वीँ राष्ट्रीय महासभा के पांचवें पूर्णाधिवेशन के बारे मेँ व्यापक जानकारी मिली, जो 29 अक्तूवर को पेइचिंग मेँ सम्पन्न हुआ । इस पूर्णाधिवेशन मेँ 13वीँ पंचवर्षीय योजना संबधी सुझाव पारित किया गया। उम्मीद है कि 13वीँ पंचवर्षीय योजना पूरी होने पर नागरिकों के जीवन स्तर और जलवायु संरक्षण आदि क्षेत्रों में बड़ी प्रगति मिलेगी। धन्यवाद।

    श्याओयांग द्वारा प्रस्तुत चीन मेँ तत्कालीन भारतीय कला प्रदर्शनी के बारे मेँ रिपोर्ट अच्छी लगी । 23 अक्तूबर से 21 दिसंबर तक चल रही इस प्रदर्शनी से तत्कालीन भारतीय संस्कृति को देखने व अनुभव लेने का अच्छा मौका मिला । मूर्ति , फोटो , नयी मीडिया और चित्र सहित कुल 39 तरह के कायों का प्रदर्शन किया, जो मुख्यतः दिल्ली के राष्ट्रीय आधुनिक कला केन्द्र के कलाकारों द्वारा तैयार किए गए हैं। इस तरह प्रदर्शनी से दोनों देशों के लोगों को एक-दूसरे को समझने का मौका मिलेगा।

    चीन की झलक मेँ घने जगलों, गर्म चश्मों, बर्फ,घास मैदानों ज्वालामुखी खण्डहरों , नद नदियों व झीलों ने मिलकर अनोखा रूप लेकर अल्शान पर्वत जो पर्यटकों को आकर्षित करता है , उसका विस्तृत वर्णन बहुत अच्छा लगा। साथ ही पूर्वी मंगोलिया स्वायत्त प्रदेश स्थित है और बड़े शिंगआन पर्वत के हरित मोती के नाम से जाना जाता है। अल्शान का पूरा नाम है हलुन अश्लान। मंगोल भाषा मेँ हलुन का अर्थ है गर्म और अलश अर्थ है पवित्र जल। इसलिये अल्शान पर्वत पर्यटन स्थल मेँ पर्वत के बजाय गर्म चश्मे के लिए अधिक मशहूर है। अल्शान पर्यटन स्थल मेँ कूल 76 चश्मे है। ऐसा गर्म चश्मा समूह विश्व मेँ बहुत कम देखने को मिलता है। अल्शान गर्म चश्मा म्यूजियम अल्शान पर्यटन स्थल का सबसे बड़ा गर्म चश्मा समूह है। अल्शान का हालहा ज्वालामुखी समूह मंगोलिया गणराज्य के हारचिंगर ज्वालामुखी समूहों मे जुड़ा हुआ है और वह चीन के प्रसिद्ध ज्वालामुखी समूहों में से एक है। इस अश्लील पर्वत का दौरा बहुत सुंदर अनुभव देता है। धन्यवाद

    मीनू:आगे बिधान चंद्र सान्याल जी लिखते हैं......आपके वेबपेज पर " क्या भारत का अफ्रीकी वक्त आ गया ? " रिपोर्ट पढ़कर कुछ तथ्य शेयर करने की अभिलाषा हुयी। इसलिए यह पत्र आपको समर्पित करता हूं। भारत और अफ्रीका वैश्विक अर्थव्यवस्था की उम्मीदों और संभावनाऑं के दो उभरते हुए क्षेत्र हैं। भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत अफ्रीका मंच शिखर सम्मेलन 2015 के उद्घाटन भाषण मेँ 54 देशों के राष्ट्राध्यक्ष और शासनाध्यक्ष को संबोधित करते हुए कहा कि अफ्रीका अतीत को भूलकर एक नए क्षेत्रीय आर्थिक एकीकरण को शुरुआत कर रहा है और भारत इसमेँ हमेशा सहयोगी रहेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत - अफ्रीका मंच शिखर सम्मेलन को बेहद सफल और ऐतिहासिक बताते हुए कहा कि इसे हर पांच साल मेँ आयोजित करने पर सहमति बनी है। पीएम मोदी ने आतंकवाद, जलवायु परिवर्तन और संयुक्त राष्ट्र सुधार जैसे प्रमुख क्षेत्रों मेँ सहयोग गहरा बनाने के साथ ही अफ्रीकी देशों को अगले पांच साल मेँ रियायती दर पर 10 अरब डॉलर के ऋण और 60 करोड़ रूपये की अनुदान सहायता देने की पेशकश की। उन्होँने तीसरे भारत - अफ्रीका फोरम शिखर बैठक के उद्घाटन सत्र के अपने संबोधन मेँ इसे एक छत के नीचे एक तिहाई मानवता के सपनों की बैठक बताया। उन्होंने कहा कि सवा अरब भारतीयॉ और सवा अरब अफ्रीकियों के दिलों की धड़कन एक हो गई है। यह साझेदारी सामरिक चिंताओं और आर्थिक लाभ से ऊपर है। प्रधानमंत्री ने कहा कि दिवंगत राष्ट्रपति एपीजे अव्दुल कलाम के उस सपने को साकार किया जाएगा जिसमेँ उन्होंने समग्र अफ्रीका को नेटवर्क से जोड़ने की परिकल्पना थी। इससे 48 अफ्रीकी देश आपस मेँ और भारत के साथ जुड़ेंगे। धन्यवाद

    अनिल:बिधान चंद्र सान्याल, हमें पत्र भेजने और अपनी प्रतिक्रिया हम तक पहुंचाने के लिए आपका बहुत बहुत धन्यवाद। चलिए, आगला पत्र हम पढ़ते हैं उत्तर प्रदेश से सादिक आज़मी जी का। उन्होंने लिखा है.....नमस्कार, पूर्व की भॉति कार्यक्रम आज का लाईफ स्टाइल पूरे मनोयोग से सुना, जिसे प्रस्तुत किया अखिल जी एवं हैया जी ने, कार्यक्रम के आरम्भ में श्रोता मित्रों की प्रतिक्रिया एवं सुझाव को सम्मान दिया जाना बहुत अच्छा लगा, और चीनी गीत का सुनवाया जाना दिल जीत गया पर आप से अनुरोध है कि संक्षिप्त रूप से इसका हिन्दी अनुवाद कर दिया करें, ताकि कम से कम हमको गीत के भाव समझने मे आसानी हो, लाईफ स्टाइल स्पेशल में नाखून चबाने के घातक कारणों पर आप की समीक्षा अतयंत ञानवर्धक लगी। वैसे भी हमने सुना था कि यह शरीर की गंदगी को बाहर किये जाने का एक प्राकृतिक ढंग है इससे छेड़ छाड़ मतलब नुकसान को दावत देना। आपकी यही चेष्टा मन को छू जाती है उन विषयों पर आप की नज़र रहती है जिसपर हमारा ध्यान कम ही रहता है। छोटी छोटी बातों से हमारी जीवनशैली कितनी प्रभावित होती है इसका ध्यान दिलवाने हेतु हृदय से साधुवाद। कैरियर कार्नर में आपने सदैव हमारा मार्ग दर्शन किया है आज की प्रस्तुति मे लीडर बनने की विशेषता और इसके फायदे का उल्लेख यकीनन उन तमाम लोगों के लिये फायदेमंद होगा। जिनको अपने कैरियर संबंधी राह चुनने में दिक्कत पेश आती है, वर्तमान में सहवाग के अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से सन्यास लिये जाने की खबर पूरी मीडिया पर छाई हुई है और आप द्वारा उनके क्रिकेट जीवन पर रोशनी डालना काफी अच्छा लगा। वैसे सहवाग मेरे फेवरेट रहे हैं उनकी बैटिंग का मैं हमेशा कायल रहा हूं उनके बारे में शेनवार्न ने काफी बार कहा कि मैं उनको क्रीज़ पर बैटिंग करते देखना पसंद करता हूं पर बॉलिंग करते नहीं। क्यूंकि वह बॉलर की दुर्गति कर दिया करते हैं, और भी कई खिलाड़ी हैं जिन्हों ने सहवाग पर अपने विचार पेश किये हैं अगर उनके विचारों का हवाला दूं तो पत्र लम्बा हो जाएगा बस यही कहना चाहूंगा आपकी समीक्षा उम्दा थी, इस शुक्रवार रिलीज़ हो रही हिन्दी फिल्म तितली का प्रोमो सुनवाया जाना भी बहुत अच्छा लगा, धन्यवाद

    मीनू:सादिक आज़मी जी, हमें पत्र भेजने और हमारा कार्यक्रम सराहने के लिए आपको धन्यवाद। चलिए, अगला पत्र हमें भेजा है पश्चिम बंगाल से देवशंकर चक्रबर्ती जी ने। उन्होंने लिखा है.....नमस्ते ।23 अक्टूबर शुक्रवार को शारदीय दुर्गा पूजा महोत्सव का समापन सिंदूर खेला व मां दुर्गा की प्रतिमा विसर्जन से हुआ।इस दौरान हमारे गांव के महिलाओं और सदस्यों ने एक दूसरे के चेहरे पर सिंदूर लगाकर पारंपरिक सिंदूर खेला का आनंद लिया। इसके बाद मां दुर्गा की प्रतिमा तालाब में विसर्जन किया गया। क्लब के सदस्यों ने नाचते-गाते हुए धूमधाम से जगत जननी मां दुर्गा को विदाई दी।दुर्गा पूजा के महाअष्टमी के दिन हम एक सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन भी किया साथ ही क्लब सदस्यों द्वारा चार दिवसीय दुर्गा पूजा के समय विभिन्न पूजा पंडालों में सीआरआई हिंदी सेवा के लिए प्रचार प्रसार भी किया। हम हमारे क्लब के संपादक रविशंकर बसु जी के आभारी हैं क्योंकि उन्होंने सांस्कृतिक कार्यक्रम को सफल बनाने की कोशिश की गयी।

    अनिल:देवशंकर चक्रबर्ती जी, हमें बहुत खुशी है कि आप लोगों ने दुर्गा पूजा के समय विभिन्न पूजा पंडालों में सीआरआई हिंदी सेवा के लिए प्रचार प्रसार भी किया। हमने ये फोटो अपनी वेबसाइट पर डाल दिये हैं, जो आपने हमें भेजे हैं। हमें बहुत अच्छा लगता है। चलिए, अंत में आपको सुनाया जा रहा है पश्चिम बंगाल से हमारे मोनिटर रविशंकर बसु जी का पत्र। उन्होंने लिखा है.....

    सादर नमस्कार। 2 नवंबर ,2015,सोमवार को रात साढ़े नौ से साढ़े दस बजे तक शार्ट वेव 7395 किलोहर्ट्ज (kHz) पर आपका रेडियो प्रोग्राम सुना। अनिल आज़ाद पाण्डेय जी द्वारा पेश किये गए दुनिया भर के ताज़ा समाचार सुनने के बाद आज भी साप्ताहिक "चीन का भ्रमण" प्रोग्राम के ज़रिये सुहावने चीन का दो सुंदर पर्यटन स्थल दौरा करने का मुझे मौका मिला। हर सोमवार को चीन का भ्रमण कार्यक्रम घर में बैठकर चीन घूमने का एक बहुत ही बढिया कार्यक्रम है। यह सच है कि चीन पृथ्वी पर सबसे सुंदर देशों में से एक है,जहां महान ईमारत है, सुंदर प्राकृतिक दृश्य है और मेहनती जनता भी है।

    आज इस कार्यक्रम के पहली रिपोर्ट में रमणीय क्वी चोउ प्रांत मैडम रूपा जी के साथ दौरा करते हुये बहुत अच्छा लगा। कार्यक्रम से पता चला कि क्वे चओ प्रांत दक्षिण पश्चिम चीन में अवस्थित है। इस प्रांत में चीन की विभिन्न अल्पसंख्यक जातियां सघन रुप से बसी हुई हैं, जिन लोगों के विशेष रहन-सहन और रीति रिवाज सभी पर्यटकों को अपनी और खींचती है। आन शुन शहर क्वी चोउ प्रांत के मध्य-पश्चिम भाग में स्थित एक सुंदर ऐतिहासिक स्थल है। आन शुन चीन सरकार के द्वारा विकसित सबसे उत्तम पर्यटन स्थलों में से एक है। चीन का सबसे प्रसिद्ध जल प्रपात ह्वांग कुओ शू आन शुन में ही स्थित है। ह्वांग कुओ शू जल प्रपात क्वी चोउ प्रांत के पर्यटन का मुख्य आकर्षक केंद्र है। ह्वांग को शू झरना एक बड़ा झरना समूह है, उसके आसपास 20 वर्गकिमी. विशाल क्षेत्र में अजीबोगरीब छोटे बड़े झरने देखने को मिलते हैं । उन में 101 मीटर चौड़ा और 77.8 मीटर ऊंचा सबसे बड़ा झरना देखने में बहुत आकर्षक है ।1999 में इस झरना को विश्व के सबसे बड़े झरना समूहों में शामिल किया गया है।

    मीनू:आगे बसु जी लिखते हैं......क्वी चोउ प्रांत के सरसों के खेत, पहाड़ों पर खिले नाशपाती व आड़ू के फूल आदि ने मेरे मानस पटल पर गहरा छाप छोड़ी है। इस प्रांत के शिचांग प्रिफेक्चर के मियाओ गांव में मियाओ अल्पसंख्यक जाति के लोगों के घर और मकानों की चित्रकारी देखने के लिए मैं बहुत ही उत्सुक हूं। अगर सच कहूं तो क्वी चोउ प्रांत की सुंदरता के बारे में इतनी मनमोहक रिपोर्ट सुनकर मुझे वहां जाने का दिल कर रहा है।

    प्रोग्राम के दूसरे रिपोर्ट में चीन के च्यांगसू प्रांत का ऐतिहासिक एवं खूबसूरत शहर सूचओ (सु चोउ) में स्थित सु चोउ औद्योगिक क्षेत्र के बारे में दी गई जानकारी अत्यंत महत्वपूर्ण लगी। सु चोउ शहर के पूर्वी छोर पर स्थित इस औद्योगिक क्षेत्र का निर्माण चीन और सिंगापुर सरकार के बीच घनिष्ठ सहयोग से किया गया है।

    इस औद्यौगिक क्षेत्र में चिन ची झील नामक एक प्राकृतिक झील है। उसका क्षेत्रफल चीन के प्रसिद्ध हांगचोउ शहर की पश्चिमी झील से लगभग 1.2 वर्गकिलोमीटर ज्यादा है।रिपोर्ट से पता चला कि शाम के वक्त इस झील में नौकायान का आनंद लेना वहां जाने वाले पर्यटकों का सबसे पसंदीदा काम है। इस झील में जो पहिया है वह दुनिया का सबसे बड़ा पानी के उपर बनी पहिया है।इस झील के पास आड़ू का बाग है जहां वसंत के मौसम में लाल, गुलाबी आदि रंगों के फूल खिलते हैं।

    अनिल:अंत में बसु जी ने लिखा है.....चिन ची झील में स्थित फेरी ह्वील सबसे ज्यादा आकर्षण का केंद्र है जिसकी ऊंचाई लगभग 120 मीटर है। वहां पर स्थित थाओ हुआ द्वीप, ली कुंग बांध आदि दर्शनीय स्थल भी नौकायान के दौरान पर्यटक देख सकते हैं। सुना है कि सुचोउ औद्यौगिक पार्क में स्थित टाइम्स स्कावयर पर डिपार्टमेंटल स्टोर वर्तमान में चीन का सबसे बड़ा स्टोर है। वहां पर स्थित लगभग 500 मीटर लंबी टीवी स्क्रीन पर सुचोउ और इस औद्यौगिक क्षेत्र पार्क से जुड़े विज्ञापन दिखाए जाते हैं।

    सुचोउ स्थित चुंग युवान मठ का निर्माण छठी शताब्दी में हुआ था जो कि चीनी सांस्कृतिक क्रांति के समय पूरी तरह से नष्ट कर दिया गया था। बाद में इस मठ को फिर से वर्ष 2007 में तैयार किया गया। इस मंदिर में स्थित अवलोकीदेश्वर मंडप की ऊंचाई 46 मीटर है जोकि चीन में पानी पर स्थित सबसे ऊंचा मंडप है। इस मंडप में स्थित देवी मूर्ति की कुल ऊंचाई 33 मीटर है। इस मूर्ति का कुल वजन लगभग 88 टन है। यह पूरी तरह से तांबे से निर्मित है।सुना है वह चीन की सबसे बड़ी और सबसे वजनदार मूर्ति है। लेकिन यह प्रोग्राम ध्यान से सुनने के बाद मेरा दिल कर रहा है कि मैं कब खूबसूरत शहर सूचओ शहर दौरा करूंगा और वहां स्थित चिन ची झील का सौंदर्य उपभोग करूंगा।एक सुंदर प्रस्तुति के लिए रूपा जी को धन्यवाद।

    इसके के बाद आज "मैत्री की आवाज़" प्रोग्राम में चीन-भारत आदान-प्रदान कार्यक्रम के तहत हाल ही में चीन दौरे पर गए भारतीय युवा प्रतिनिधिमंडल का सदस्य ओड़िशा के एक रिपोर्टर अमिताभ शाहू जी के साथ अखिल जी की बातचीत के मुख्य अंश हमें सुनने को मिले। उन्होंने प्राचीन शीआन शहर और चीन की राजधानी पेइचिंग महानगर पर अपनी अनुभव हमें बताये जो मुझे बहुत अच्छा लगे। उन्होंने चीनी नागरिकों की मेहमान नवाजी की बहुत तारीफ की। उन्होंने कहा कि चीन व भारत के युवाओं के बीच आवाजाही और बढ़ेगी। मेरा मानना है कि दोनों देशों की आपसी आदान-प्रदान से भारत और चीन के बीच मैत्री भी समृद्ध होगी। हम श्रोता लोगों को इस आदान-प्रदान कार्यक्रम में शामिल करेंगे तो हम बहुत खुश होंगे।

    मीनू:अब सुनिए हमारे श्रोता मोहम्मद अहमद के साथ हुई बातचीत।

    अनिल:दोस्तो, इसी के साथ आपका पत्र मिला प्रोग्राम यही संपन्न होता है। अगर आपके पास कोई सुझाव या टिप्पणी हो तो हमें जरूर भेजें, हमें आपके खतों का इंतजार रहेगा। इसी उम्मीद के साथ कि अगले हफ्ते इसी दिन इसी वक्त आपसे फिर मुलाकात होगी। तब तक के लिए अनिल पांडे और मीनू को आज्ञा दीजिए, नमस्कार

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