मीरेई कांउटी की ओर रास्ते पर
तिब्बत स्वायत्त प्रदेश में पर्यटन संसाधन प्रचुर हैं। जब तिब्बत के विभिन्न क्षेत्र पर्यटन और संस्कृति उद्योग को केंद्र बनाकर शहरी और कस्बे का निर्माण बढ़ाते रहे, ऐसे में न्यिंगची प्रिफेक्चर के न्यिंगची शहर के पायी क्षेत्र में मीरेई काउंटी ने अपनी विशेष कृषि पर भरोसा करके विकास किया।
43 वर्षीय तिब्बती जाति के किसान नीमा मीरेई काउंटी के थोंगमाई गांव में रहते हैं। उन्होंने बताया:"भूदास व्यवस्था की मुक्ति से पहले पुरानी पीढ़ी के लोगों ने दूसरों के लिए नौकरी की। मुक्ति के बाद सरकार ने उन्हें मकान और खेत दिये। तब से अब तक हम यहां रह रहे हैं।"
पुरानी पीढ़ी की तरह प्रतिदिन खेती का काम करना किसान नीमा का सबसे महत्वपूर्ण काम है। हर साल नीमा का परिवार तिब्बती जौ और गेहूं की फसल उगाता है।
नीमा की तरह मीरेई काउंटी के अधिकांश लोग कृषि पर निर्भर करते हैं। जबकि नजदीक की काउंटियों के लोग पर्यटन से जुड़े हैं। मीरेई काउंटी की कम्युनिस्ट पार्टी के अध्यक्ष लू चुनफिंग के विचार में हालांकि मीरेई काउंटी में पर्यटन संसाधन मौजूद हैं, फिर भी कमजोर आधारभूत संस्थापनों के कारण पर्यटन उद्योग का विकास नहीं हुआ।
लेकिन इस स्थिति में मीरेई काउंटी को अपनी श्रेष्ठता पर निर्भर रहते हुए स्थान हासिल हुआ। लू चुनफिंग ने कहा:"हमारी काउंटी कृषि और पशु धन पर निर्भर है। पिछले साल मक्के का उत्पादन 466 हेक्टेयर तक पहुंचा। यहां की मिट्टी उपजाऊ है और मक्के की उपज भी अच्छी होती है।"