जानकारी के मुताबिक ब्रिक्स देशों का सहयोग अभी दूसरे दस वर्षों में प्रवेश कर गया है। संचार और सूचना मंत्रियों का सम्मेलन ब्रिक्स देशों के हर क्षेत्रों में सभी वार्ता और सहयोग की व्यवस्था की महत्वपूर्ण भाग बन गई है।
चीनी उप उद्योग और सूचनाकरण मंत्री ल्यू ली ह्वा ने कहा कि ब्रिक्स देशों में भूक्षेत्र विशाल और आबादी बड़ी है, इसलिये सूचना और संचार प्रौद्योगिकी अग्रभूमि है। आशा है कि सदस्य देश अच्छी तरह से इस सम्मेलन में संपन्न हुई आम सहमतियों का पालन करेंगे, सहयोग में निहित शक्तियों को उभारेंगे और सहयोग को विस्तृत करेंगे, एक साथ सूचना और संचार प्रौद्योगिकी को आगे बढ़ाएँगे, ताकि ब्रिक्स देशों के अर्थ और समाज का अच्छी तरह से विकास किया जा सके।
सम्मेलन के दौरान, ब्रिक्स देशों के बीच उद्योग वार्ता सम्मेलन, उद्योग गोलमेज सम्मेलन आदि कार्यवाई भी आयोजित की गईं। सदस्य देशों से आए दूरसंचार ऑपरेटर, उपकरण आपूर्तिकर्ता, इंटरनेट उद्यम क्षेत्र से आए क़रीब 40 संचार कंपनियों, अनुसंधान संस्थानों और व्यापार संघ ने इस सम्मेलन के मुख्य विषयों पर गहन रूप से आदान-प्रदान किया।
बता दें कि वर्ष 2015 में पहली ब्रिक्स संचार मंत्रियों का सम्मेलन रूस में आयोजित हुआ था, जिसमें ब्रिक्स के पाँच देशों के बीच सूचना और संचार क्षेत्र में सहयोग व्यवस्था स्थापित की गई। वर्ष 2016 में दूसरा सम्मेलन भारत में आयोजित हुआ, जिसमें《आइसीटी विकास समझौता और कार्य योजना》पारित किया गया।
तीसरे ब्रिक्स संचार मंत्रियों के सम्मेलन में फ़ैसला किया गया है कि अगले साल चौथा सम्मेलन दक्षिण अफ्रीका में आयोजित होगा।