चीनी राष्ट्राध्यक्ष शी चिनफिंग ने 8 जुलाई को रूस के उफ़ा शहर में भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की।
शी चिनफिंग ने कहा कि इस साल मई में हम दोनों ने चीन के शीआन शहर में चीन-भारत रणनीतिक साझेदार संबंध के विषय वस्तुओं, अधिक घनिष्ठ संबंध के निर्माण करने पर अहम सहमतियां हासिल कीं। हमने दोनों देशों की जनता और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को दो बड़े विकासशील देशों के रूप में चीन और भारत के सहयोग और समान विकास का संकेत दिया। दोनों पक्षों की समान कोशिशों के जरिए हमारे बीच संपन्न विभिन्न आम सहमतियों का कार्यान्वयन किया जा रहा है। दोनों देशों के बीच कानून निर्माण संस्थाएं, रेलवे, औद्योगिक पार्क और स्मार्ट शहर जैसे क्षेत्रों में सहयोग स्थिर रूप से आगे बढ़ रहा है।
शी चिनफिंग ने बल देते हुए कहा कि वर्तमान में दोनों पक्षों को चीन-भारत संबंध के सक्रिय विकसित रूझान बनाए रखते हुए आपसी लाभ वाले सहयोग की नई स्थिति बनानी चाहिए। उच्च स्तरीय संपर्क बरकरार रखते हुए विभिन्न स्तरीय रणनीतिक संपर्क को मज़बूत किया जाए, योजनानुसार अहम सहयोगी परियोजनाओं के कार्यान्वयन से जुड़े अनुसंधान किया जाए और चीन-भारत सहयोग के आदर्श परियोजनाओं को बनाया जाए। इनके अलावा चीन-भारत सांस्कृतिक आवाजाही परियोजना का अच्छी तरह कार्यान्वयन करते हुए थिंकटैंक, मीडिया और स्थानीय सहयोग का अच्छा विकास किया जाए। मतभेदों का अच्छी तरह नियंत्रण करते हुए सीमा क्षेत्र की शांति और अमनचैन की रक्षा की जाए। चीन और भारत को एआईआईबी, ब्रिक्स नया विकास बैंक, बीसीआईएम आर्थिक गलियारे के निर्माण को आगे बढ़ाना चाहिए और चीन के"एक पट्टी एक मार्ग"वाले प्रस्ताव और भारत के संबंधित प्रस्तावों को कारगर रूप से जोड़ने पर विचार विमर्श करना चाहिए। ताकि आपसी लाभ वाले सहयोग और समान विकास साकार हो सके।
मोदी ने कहा कि वर्तमान में भारत-चीन संबंध का बेहतर विकास हो रहा है। दोनों देशों के बीच पारस्परिक विश्वास मज़बूत हो रहा है। मैंने राष्ट्राध्यक्ष शी के साथ कई बार मुलाकात कीं। दोनों देशों के उच्च स्तरों के बीच घनिष्ठ संपर्क कायम रहा है। हाल के वर्षों में भारत और चीन के बीच आर्थिक और व्यापारिक सहयोग लगातार विस्तृत हो रहा है। विज्ञान और तकनीक, बाह्य अंतरिक्ष और बुनियादी उपकरण जैसे क्षेत्रों में सहयोगी परियोजनाओं का लगातार कार्यान्वयन किया जा रहा है। भारत अधिक चीनी उद्यमों के देश में निवेश करने का स्वागत करता है और चीन के साथ मिलकर रणनीतिक संपर्क और समन्वय को मज़बूत करते हुए सीमा मुद्दे समेत दोनों देशों के बीच मौजूद मतभेदों का अच्छी तरह समाधान करने को तैयार है।
मोदी ने यह भी कहा कि भारत चीन के साथ ब्रिक्स देशों के ढांचे में सहयोग मज़बूत करने को तैयार है। ब्रिक्स देशों का नया विकास बैंक और एआईआईबी का निर्माण भारत-चीन सहयोग के लिए अधिक अवसर प्रदान करवाएंगे। भारत इन बैंकों के निर्माण में और संबंधित सहयोगी परियोजनाओं में सक्रिय भाग लेगा।
(श्याओ थांग)