प्राचीन भारत ने विश्व को योग दिया है। इसका मतलब है एकमत, मिल जुलकर और सामंजस्य। वह भारतीय संस्कृति का प्रतिनिधित्व करता है, जिसका इतिहास हजारों वर्ष पुराना है। योग का अभ्यास करने से लोग अपनी निहित शक्ति का विकास करते हैं, और अपनी आत्मा को ब्रह्म के साथ जोड़ सकते हैं।
चीन के यून्नान प्रांत के डाली शहर में दक्षिण प्राचीन रेशम मार्ग, प्राचीन चाय औऱ घोड़ा मार्ग का एक आवश्यक हिस्सा है। जो चीन और दक्षिण-पूर्वी एशिया, दक्षिण एशिया के बीच सांस्कृतिक और व्यापारिक आदान-प्रदान का एक महत्वपूर्ण द्वार है।
वर्ष 2014 की 7 से 12 जुलाई तक दूसरा चीन-भारत योग शिखर सम्मेलन युन्नान के डाली शहर में आयोजित हुआ। योग के कई समुदायों के गुरु औऱ प्रतिनिधि, और दो हजार से अधिक योग प्रेमी इसमें उपस्थित हुए। शिखर सम्मेलन के महासचिव छेन सी ने कहा कि चीन-भारत योग शिखर सम्मेलन का आयोजन चीन में योग के विकास के लिये महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।
चंद्रिमा