इस साल की मार्च में श्री ब्रोन ने अपनी पत्नि व अपने दो बच्चों को छिंगहांग में बुलाया और छिंग हाई में स्थाई जीवन बिताना शुरू किया। आरंभ में श्री ब्रोन की पत्नि सुश्री जानिफेर को पठारी जीवन की आदत नहीं थी , उन्हें यह समझ में नहीं आया था कि उन के पति ने क्यों जर्मनी के आरामदेह जीवन को छोड़ कर यहां करियर का विकास करने का निश्चय किया । लेकिन अब उन्हों ने अपने पति का फैसला समझ लिया है और वह खुद भी छिंगहाई से प्यार कर गयी है।
श्री ब्रोन के दो बच्चे भी स्थानीय स्कूल में भर्ती हो कर पढ़ने लगे। वे स्थानीय बच्चों के साथ जीवन बिताते , सीखते और खेलते हैं। कभी कभी श्री ब्रोन और सुश्री जानिफेर बच्चों के साथ यात्रा के लिये बाहर जाते हैं । इस के दौरान वे छिंगहाई के प्राकृतिक सौंदर्य और जातीय संस्कृति का अनुभव लेते हैं। सुश्री जानिफेर ने हमें बतायाः
इस साल की जुलाई में हम ने छिंगहाई झील की यात्रा की थी । वहां बहुत से सुंदर दृश्य उपलब्ध है। तार मंदिर भी बहुत मजेदार है , वहां बहुत से लोग तीर्थ यात्रा के लिए आते हैं ।
सुश्री जानिफेर द्वारा चर्चित छिंगहाई झील व तार मंदिर छिंगहाई प्रांत में ही नहीं , चीन भर में बहुत प्रसिद्ध हैं। छिंगहाई झील चीन में सब से बड़ी अन्तर्स्थलीय नमकीन झील है, जिस के पास विशाल घास मैदान फैला है और चरवाहों के तंबू और बैल बकरी बेशमार में देखने को मिलते है। तार मंदिर तिब्बत बौद्ध धर्म के लिये बहुत प्रसिद्ध भी है, इस का इतिहास काफी लम्बा पुराना भी है।
छिंगहाई में रहते हुए श्री ब्रोन ने बहुत से विदेशी मित्रों से भी मुलाकात की है , उदाहरण के लिये अमरीका से आए छात्र जोशुए लोट्स को लीजिए । वह पांच सालों से जीवविज्ञान में चिकित्सा पढ़ते हैं , छुट्टियों के समय वे छिंगहाई की यात्रा करता रहता है। यहां वे तिब्बती परंपरागत चिकित्सा का अनुसंधान करने में लगे हैं। पिछले पांच सालों के भीतर उसे गहरा अनुभव हुआ है कि तिब्बती चिकित्सा बहुत चमत्कारी व विशाल विषयक होती है , इस के अलावा छिंगहांग में हुए भीरी परिवर्तन ने भी उसे गहरा प्रभावित किया है। उस ने कहाः
इन पांच सालों में छिंगहाई में बड़ा परिवर्तन आया है । आधुनिक इमारतों के अलावा यहां इंटरनेट वेबसाइट, केबल टीवी जैसी आधुनिकत्म चीजें भी मिल सकती हैं। जो चीजें चीन व विश्व के विभिन्न देशों के महा नगरों में देखी जा सकती हैं वहां भी मिलती है , मसलन् , पश्चिमी भोजन वाला रेस्ट्रां और असली काफी आदि खाद्य-पदार्थ का स्वाद ले लिया जा सकता है । लेकिन पांच सालों से पहले आप को ऐसी चीजें खाने को दुर्लभ मिलती थी ।
वर्तमान में छिंगहाई में यात्रा करने वाले, व्यपार करने वाले व पढ़ने वाले विदेशियों की संख्या साल व सला बढ़ती जा रही है। क्यों छिंगहाई से इतने ज्याजा विदेशी मित्र आकर्षित हुए हैं । इस की चर्चा करते हुए छिंगहाई जातीय कालेज के अंतर्राष्ट्रीय शिक्षा केंद्र के सदस्य श्री छ्वान शेंग ओ ने कहाः
इस का एक आम कारण यह है कि चीन के पश्चिमी क्षेत्रों की जोरदार विकास रणनीति से बहुत से विदेशियों को आकर्षित किया गया है। एक अन्य कारण छिंगहाई की विशेष जातीय संस्कृति है।
|