पेइचिंग में आयोजित शहरी सांस्कृतिक अन्तरराष्ट्रीय संगोष्ठी ने 11 तारीख को पेइचिंग घोषणा-पत्र जारी किया।
घोषणा-पत्र में कहा गया है कि नयी शताब्दी की शहरी संस्कृति को पारिस्थितिकी सभ्यता की विशेषता को प्रतिबिंबित करना चाहिए। मानव केन्द्रीयता वाली विचारधारा, प्राकृतिक संसाधन को लूटने वाला विकास फार्मूला एक अस्वीकार्य विचारधारा है। शहरी विकास में प्राकृतिक पर्यावरण के दबाव को कम करना , बिगड़ी पारिस्थितिकी व्यवस्था का जीर्णोद्धार कर मानव और प्रकृति , शहर व गांव के बीच के आपसी सामंजस्य को बखूबी अंजाम देना, शहर के विकास का एक आधार बिन्दु बन गया है ।
इस के साथ, शहरी विकास के दौर में आम नागरिकों की हित हासिल करने की अभिलाषा को भी प्रतिबिंबित करना चाहिए। आम नागरिकों को अपना लक्ष्य तय करने के आधार पर विभिन्न जन समूहों की मांगों का जवाब देने के साथ विशेष रूप से गरीब वर्ग की जरूरतों पर ध्यान देना चाहिए।
शहरी सांस्कृतिक अन्तरराष्ट्रीय संगोष्ठी चीनी निर्माण मंत्रालय, संस्कृति मंत्रालय और राष्ट्रीय सांस्कृतिक अवशेष द्वारा संयुक्त रूप से प्रवर्तित की गयी है। 23 देशों व क्षेत्रों के 1000 से अधिक मेयर, डिजाइनर, निर्माणकर्ता व शहरी संस्कृति पर ध्यान दे रहे विभिन्न जगत के लोग इस बैठक में भाग ले रहे हैं।
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