कुछ स्थानों में लोहा गलाने की भटठी में प्रति दिन एक हजार पांच सौ से दो हजार किलोग्राम तक लोहा तैयार किया जा सकता था, तथा दैनिक उच्चतम उत्पादन तीन हजार किलोग्राम तक पहुंच गया था। युननान प्रान्त में तांबे के खनन का बहुत तेजी से विकास हुआ।