भारत में चीनी राजदूत का लेख इंडिया एक्सप्रेस पर प्रकाशित हुआ
भारत में चीनी राजदूत श्यू फ़ेइहोंग का लेख, "चीन का विकास, भारत के अवसर," 30 अक्टूबर को इंडिया एक्सप्रेस पर प्रकाशित हुआ। लेख में कहा गया है कि इस साल की तीसरी तिमाही में चीन की जीडीपी पिछले साल की तुलना में 4.6 प्रतिशत अधिक थी। कुछ भारतीय मीडिया ने बताया कि चीन की आर्थिक वृद्धि दर धीमी हो रही है। वहीं, कुछ मीडिया ने चीन के 5 प्रतिशत के वार्षिक आर्थिक लक्ष्य पर सवाल उठाए।
राजदूत श्यू फ़ेइहोंग ने चीन की अर्थव्यवस्था पर अपने विचार व्यक्त किए। सबसे पहले, चीन की आर्थिक वृद्धि धीमी नहीं हुई है और न ही धीमी होगी। इस साल से, अंतर्राष्ट्रीय स्थिति जटिल परिवर्तनों से गुज़र रही है। चीन अपने विकास पैटर्न को बदलने और अपनी आर्थिक संरचना में सुधार करने के एक महत्वपूर्ण दौर से गुज़र रहा है। इसके साथ ही, प्राकृतिक आपदाएँ भी हुईं। इसलिए, तीसरी तिमाही में चीन की जीडीपी में कमी आई।
हालांकि, अगर हम इसे लंबी अवधि में देखें, तो चीन की जीडीपी लगातार आठ तिमाहियों में बढ़ी है। इस वर्ष की पहली तीन तिमाहियों में चीन की जीडीपी पिछले साल की तुलना में 4.8 प्रतिशत अधिक रही, जो अभी भी दुनिया की प्रमुख आर्थिक शक्तियों में अग्रणी है। नई ऊर्जा वाहनों, लिथियम बैटरी और फोटोवोल्टिक्स जैसे हरित व्यवसायों का उत्पादन पहली तीन तिमाहियों में बढ़ता रहा। इससे पता चलता है कि चीन के आर्थिक विकास की गुणवत्ता में सुधार हुआ है।
दूसरा, चीन इस साल के आर्थिक लक्ष्य को प्राप्त करने के बारे में आश्वस्त है। हाल ही में, चीनी सरकार ने शेयर बाजार, रियल एस्टेट बाजार और मध्यम, लघु और सूक्ष्म उद्यमों का समर्थन करने के लिए उदार नीतियां बनाईं। मॉर्गन चेस, गोल्डमैन सैक्स और नोमुरा सिक्योरिटीज जैसे निवेश बैंकों ने चीन के आर्थिक विकास के पूर्वानुमान को बढ़ाया।
तीसरा, चीन कोई खतरा नहीं है। चीन की अर्थव्यवस्था अभी भी वैश्विक आर्थिक विकास का मुख्य इंजन है। विश्व आर्थिक विकास में चीन का योगदान 30 प्रतिशत से अधिक है। चीन के साथ संबंध तोड़ने का मतलब है अवसरों और भविष्य से दूर होना। इस साल की पहली छमाही में चीन में नव स्थापित विदेशी कंपनियों की संख्या 26,870 थी, जो पिछले साल की तुलना में 14.2 प्रतिशत अधिक है। चीन ने वीज़ा-मुक्त नीतियों की एक श्रृंखला शुरू की है, जिसने चीन में पर्यटन को लोकप्रिय बना दिया है। बिजनेस इंडियन ब्लॉगर्स ने चीन में अपनी यात्राओं के वीडियो जारी किए हैं।
हाल ही में, चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग और भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के कज़ान में ब्रिक्स शिखर सम्मेलन के दौरान मुलाकात की, और चीन-भारत संबंधों को बेहतर बनाने पर एक महत्वपूर्ण सहमति बनाई। चीन और भारत के बीच सहयोग से बहुत लाभ होगा।
(ललिता)