संयुक्त राष्ट्र ने आतंकवाद के पीड़ितों को याद किया
21 अगस्त को आतंकवाद के पीड़ितों की याद और श्रद्धांजलि का अंतर्राष्ट्रीय दिवस है। संयुक्त राष्ट्र ने उस दिन एक कार्यक्रम आयोजित किया, आतंकवाद के पीड़ितों और बचे लोगों को श्रद्धांजलि देने और लोगों को यह याद दिलाने कि "आतंकवाद का इस दुनिया में कोई स्थान नहीं है।"
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने उसी दिन " शांति के लिए आवाज़ें: आतंकवाद के पीड़ित शांति समर्थक और शिक्षक के रूप में विषय पर एक ऑनलाइन कार्यक्रम में एक वीडियो भाषण दिया। जिसमें कहा गया कि आतंकवाद के कृत्यों ने अकल्पनीय दुख पहुंचाया है और टूटे हुए परिवार और समुदाय स्थायी रूप से बदल जाते हैं, और ऐसे घाव छोड़ जाते हैं जो कभी भी पूरी तरह ठीक नहीं होते।
गुटेरेस ने कहा कि व्यक्तिगत आघात पर विचार करके दूसरों को शिक्षित करना एक "अविश्वसनीय रूप से साहस भरा कार्य" है। आतंकवाद के पीड़ितों के स्मरण और श्रद्धांजलि के अंतर्राष्ट्रीय दिवस से संबंधित गतिविधियों के आयोजन का उद्देश्य लोगों को सुनने और सीखने के लिए आग्रह करना है, और लोगों को यह याद दिलाना है कि "हमें हमेशा आशा की रोशनी की तलाश करनी चाहिए।"
बाद की ऑनलाइन पैनल चर्चा में, आतंकवाद के पीड़ितों और बचे लोगों, पीड़ित संघों और संबंधित विशेषज्ञों ने आतंकवाद के बारे में जागरूकता बढ़ाने, शांति बनाने और अधिक लचीले समुदायों को बढ़ावा देने में पीड़ितों की आवाज़ की भूमिका पर चर्चा की। इसके अलावा, न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय में एक प्रदर्शनी में आतंकवाद के पीड़ितों और बचे लोगों की तस्वीरें और पीड़ितों और बचे लोगों के स्क्रीन साक्षात्कार शामिल हैं।
संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 2017 में आतंकवाद के पीड़ितों की याद में और शोक व्यक्त करने के लिए प्रत्येक वर्ष 21 अगस्त को अंतर्राष्ट्रीय दिवस के रूप में नामित करने के लिए एक प्रस्ताव पारित किया।
(आशा)