चीन-डीपीआरके संबंधों में समस्याओं को बढ़ा-चढ़ा कर पेश करने के पीछे कुछ देशों के गुप्त उद्देश्य हैं: चीन
1 अगस्त को चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लिन च्येन ने एक नियमित प्रेस कॉन्फ्रेंस की मेजबानी की। इस दौरान उन्होंने कहा कि इस वर्ष कोरियाई युद्ध के युद्धविराम की 71वीं वर्षगांठ है। 71 साल पहले, चीनी पीपुल्स वालंटियर्स ने डीपीआरके के लोगों और सेना के साथ कंधे से कंधा मिलाकर लड़ाई लड़ी और अमेरिकी आक्रामकता के खिलाफ़ डीपीआरके की सहायता के लिए युद्ध और डीपीआरके के मातृभूमि मुक्ति युद्ध में बड़ी जीत हासिल की। इस प्रक्रिया में चीन और डीपीआरके के बीच अटूट पारंपरिक दोस्ती बन गई। हालांकि अंतर्राष्ट्रीय और क्षेत्रीय स्थिति में बड़े बदलाव आए हैं, लेकिन चीन और डीपीआरके के बीच पारंपरिक मैत्रीपूर्ण सहकारी संबंधों को महत्व देने और विकसित करने की सीपीसी और चीन सरकार की स्थिति नहीं बदली है।
लिन च्येन के अनुसार हाल ही में, कुछ देशों और मीडिया ने चीन-डीपीआरके संबंधों में तथाकथित समस्याओं को बढ़ा-चढ़ाकर पेश किया है और कहा है कि चीन और रूस डीपीआरके के साथ संबंधों में प्रतिस्पर्धा कर रहे हैं, इसके पीछे उनके गुप्त उद्देश्य छिपे हुए हैं। मैं इस बात पर जोर देना चाहता हूं कि डीपीआरके और रूस दोनों चीन के मित्रवत पड़ोसी हैं। चीन डीपीआरके-रूस संबंधों के विकास को देखकर खुश है और क्षेत्रीय शांति और स्थिरता बनाए रखने में रचनात्मक भूमिका निभाता है।
चंद्रिमा