चीन ने पर्यावरण को बहाल करने में हासिल की व्यापक प्रगति

2024-06-10 16:51:26

आज पूरी दुनिया पर्यावरण व जलवायु परिवर्तन की चुनौतियों से जूझ रही है। विभिन्न देश इसके कारण कई तरह की समस्याओं का सामना कर रहे हैं। वैश्विक जलवायु परिवर्तन एक बड़ी चिंता का विषय है। जिसके लिए समय-समय पर अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर विशेषज्ञ और नेता चर्चा करते हैं, योजनाएं बनाते हैं। लेकिन समस्या के समाधान के लिए बहुत कुछ किया जाना बाकी है। चीन का उल्लेख करें, तो चीन विश्व में एक बड़ी शक्ति है। चीन बड़ी जनसंख्या वाला देश होने के साथ-साथ आर्थिक रूप से भी मजबूत है। चीन पर्यावरण संरक्षण के लिए कई उपाय कर रहा है। बताया जाता है कि चीन ने हाल के वर्षों में खदानों को संरक्षित करने का काम किया है। जो कि पर्यावरण की स्थिति सुधारने की दिशा में एक अच्छा कदम कहा जा सकता है।

चीनी प्राकृतिक संसाधन मंत्रालय के मुताबिक चीन ने वर्ष 2016 से अब तक तीन लाख हैक्टेयर बेकार बड़ी खदानों और लगभग 1,680 किमी. लंबी तटरेखा को बहाल करने में सफलता पायी है। जो कि एक बड़ी उपलब्धि है। जैसा कि हम जानते हैं कि 6 जून को विश्व पर्यावरण दिवस है, ऐसे में चीन सहित विश्व के कई देशों में पर्यावरण को बचाने के लिए कदम उठाए जाने पर जोर दिया जाएगा। लेकिन सिर्फ चर्चा या बहस करने से इस विश्वव्यापी चुनौती का मुकाबला नहीं किया जा सकता है। 

वहीं चीन के संबंधित मंत्रालय के मुताबिक चीन ने पिछले 8 वर्षों में 50 हज़ार हैक्टेयर से अधिक तटीय आर्द्रभूमि को सुधारने का काम किया है।

बताया जाता है कि पिछले 8 वर्षों के दौरान चीन में मैंग्रोव वनों में 12 प्रतिशत का इजाफा हुआ है। चीन उन कुछ देशों में एक से बन गया है, जहां मैंग्रोव आच्छादित क्षेत्रों में व्यापक इजाफा देखा गया है। इतना ही नहीं चीन ने 52 राष्ट्रीय प्रमुख पारिस्थितिक संरक्षण संबंधी कार्यक्रम भी शुरु किए हैं। इसके तहत पहाड़, नदी, जंगल, खेत, झीलें, घास के मैदान और रेगिस्तान पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।

गौरतलब है कि चीन ने वर्ष 2011 में पारिस्थितिक संरक्षण रेडलाइन प्रणाली शुरू की थी, जो कि महत्वपूर्ण पारिस्थितिक कार्यों वाले क्षेत्रों को कवर करती हैं और उन्हें सुरक्षा कवच प्रदान करती है।  

यह कहा जा सकता है कि चीन पर्यावरण संरक्षण के प्रति बहुत गंभीर है और इस दिशा में पूरे देश में विभिन्न कदम उठाए जा रहे हैं। चीन द्वारा किए जा रहे प्रयास न केवल चीन के लिए बल्कि दुनिया में जारी पर्यावरण की समस्या से निपटने में सहायक हो सकते हैं।

(अनिल पांडेय)  

रेडियो प्रोग्राम