मानव समाज के आधुनिकीकरण पर चीनी राष्ट्रपति की नई सोच

2023-03-17 16:27:27

चीनी कम्युनिस्ट पार्टी और दुनिया के राजनीतिक दलों के बीच उच्चस्तरीय संवाद सम्मेलन 15 मार्च को पेइचिंग में आयोजित हुआ, जिसमें चीन के सर्वोच्च नेता शी चिनफिंग ने मानव समाज के आधुनिकीकरण पर नई सोच और वैश्विक सभ्यता पहल पेश की।

"जन-केंद्रित" शी चिनफिंग के शासन की मूल अवधारणा है, आधुनिकीकरण देश के निर्माण का उद्देश्य जनता को बेहतर जीवन जीने में सक्षम बनाना है। शी चिनफिंग के विचार में आधुनिकीकरण का अनुसरण करने वाले किसी भी देश को संयुक्त निर्माण, साझा लाभ और उभय जीत वाला मार्ग अपनाना चाहिए। जो देश आगे हैं उन्हें तहे दिल से दूसरे देशों के विकास में मदद करनी चाहिए।

संवाद सम्मेलन में शी चिनफिंग ने एक बार फिर चीनी शैली के आधुनिकीकरण की व्याख्या की। उनके अनुसार, यह आधुनिकीकरण एक बड़ी जनसंख्या, सभी लोगों की सामान्य समृद्धि, सामंजस्यपूर्ण भौतिक सभ्यता और आध्यात्मिक सभ्यता के समन्वय, मनुष्य और प्रकृति के बीच सामंजस्यपूर्ण सह-अस्तित्व, और शांतिपूर्ण विकास का आधुनिकीकरण है, जो चीनी राष्ट्रीय स्थिति के आधार पर दूसरे देशों के अनुभव सीखने वाला है, यह न केवल विरासत में ऐतिहासिक संस्कृति, बल्कि आधुनिक सभ्यता को भी एकीकृत करता है। इससे न केवल चीनी लोगों को लाभ मिलता है, बल्कि दुनिया के सामान्य विकास को भी बढ़ावा मिलता है। यह चीन में शक्तिशाली देश के निर्माण और राष्ट्रीय कायाकल्प का रास्ता ही नहीं, चीन के लिए मानव प्रगति और विश्व सद्भाव की तलाश करने का भी एकमात्र तरीका है।

संवाद सम्मेलन में शी चिनफिंग ने पहली बार "वैश्विक सभ्यता पहल" प्रस्तुत की। यह एक और अंतरराष्ट्रीय सार्वजनिक उत्पाद है जिसे उन्होंने साल 2021 के सितंबर में "वैश्विक विकास पहल" और 2022 के अप्रैल में "वैश्विक सुरक्षा पहल" के बाद प्रस्तावित किया था।

चीनी राष्ट्रपति द्वारा प्रस्तावित "वैश्विक सभ्यता पहल" में मुख्य रूप से, संयुक्त रूप से विश्व सभ्यताओं की विविधता के सम्मान की वकालत, संयुक्त रूप से सभी मानव जाति के सामान्य मूल्यों को बढ़ावा देने की वकालत, संयुक्त रूप से सभ्यता विरासत और नवाचार के महत्व की वकालत, और संयुक्त रूप से अंतर्राष्ट्रीय सांस्कृतिक आदान-प्रदान व सहयोग को मजबूत करने की वकालत करना शामिल है।

याद रहे कि मार्च 2014 में संयुक्त राष्ट्र यूनेस्को में शी चिनफिंग ने भाषण देते हुए कहा था कि हमें विभिन्न सभ्यताओं के बीच आपसी सम्मान और सामंजस्यपूर्ण सह-अस्तित्व को बढ़ावा देना चाहिए। सभ्यताओं के बीच आदान-प्रदान और आपसी सीख को सभी देशों के लोगों के बीच दोस्ती बढ़ाने का सेतु, मानव समाज प्रगति को बढ़ावा देने की प्रेरक शक्ति, तथा विश्व शांति बनाए रखने का पुल बनाना चाहिए।

सभ्यताएँ आदान-प्रदान के कारण रंगीन होती हैं, और सभ्यताएँ परस्पर सीख के कारण समृद्ध होती हैं। मानव सभ्यता के एक नए रूप के रूप में, चीनी शैली का आधुनिकीकरण दुनिया भर की अन्य सभ्यताओं से सीखेगा और निश्चित रूप से विश्व सभ्यता के बगीचे को और अधिक शानदार बना देगा।

(श्याओ थांग)

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