14 कहावत से जुड़ी कथा--नान खअ का सपना
नान खअ का सपना 南柯一梦
कहावत से जुड़ी कहानी“नान खअ का सपना”को चीनी भाषा में“नान खअ यी मंग”(nán kē yī mèng) कहा जाता है। इसमें“नान खअ”एक जगह का नाम है, जबकि“यी”संख्यावाचक शब्द एक है और“मंग”का अर्थ है सपना। चीनी भाषा में“नान खअ का सपना”कहावत के रूप में अव्यवहारिक दिवास्वप्न कहलाता है, जिसके पीछे एक दिलचस्प कहानी प्रचलित है।
ईंसवीं नौवीं शताब्दी में छुनयु फ़न (chún yú fén) नाम का एक व्यक्ति रहता था। उसे शराब पीना बहुत पसंद था। उसके घर के आंगन में एक विशाल हरा-भरा चाइना स्कोलर का वृक्ष खड़ा था। गर्मियों की रात चांदनी वृक्ष के पत्तों से छंटती थी। रात को पवन चलती और वृक्ष घरवालों को गर्मी से बचाते हुए शीतल छाया देता।
छुनयु फ़न के जन्म दिन के अवसर पर, घर पर बड़ी दावत हुई। बड़ी संख्या में रिश्तेदार और मित्र बधाई देने आए। खुशी के माहौल में छुनयु फ़न ने कुछ ज्यादा शराब पी ली। रात को सभी रिश्तेदार और मित्र चले गए, तो छुनयु फ़न शराब के नशे में चूर होकर चाइना स्कोलर वृक्ष के नीचे जाकर विश्राम के लिए बैठ गया, थोड़ी ही देर में वह सपनों की दुनिया में खो गया।
छुनयु फ़न सपने में यह देख रहा था कि दो राजकीय दूतों के निमंत्रण पर वह एक विशाल वृक्ष की गुफा में प्रवेश कर चुका है। गुफा के भीतर आकाश बहुत साफ था, धूप सुहावनी, बिलकुल एक अलग सी दुनिया लगती थी, नाम था“महा स्कोलर वृक्ष”राज्य। उस समय इसकी राजधानी में अफ़सरों के चुनाव के लिए परीक्षा चल रही थी, तो छुनयु फ़न ने भी अपना नामांकन कराया। तीन परीक्षाएं चलीं, तीनों में छुनयु फ़न ने अच्छे-अच्छे लेख लिख कर ऊंचे-ऊंचे अंक पाए। जब परीक्षा का अंतिम परिणाम निकला, तो उसे पहला स्थान प्राप्त हुआ।
लिखित परीक्षा के बाद राजा के सामने मौखिक परीक्षा भी चली। राजा ने देखा कि छुनयु फ़न शक्ल सूरत में बहुत सुन्दर था और बहुत प्रतिभाशाली भी, तो बहुत पसंद आया। राजा ने छुनयु फ़न को अफ़सरों के चुनाव की परीक्षा में अव्वल दर्जे का चुना और अपनी पुत्री राजकुमारी की उसके साथ शादी करवायी। इस तरह छुनयु फ़न का नाम राजधानी में बहुत मशहूर हो गया।
शादी के बाद पति-पत्नी का विवाहित जीवन बहुत सुखमय रहा। कुछ समय के बाद राजा ने छुनयु फ़न को नान खअ शहर के महापौर के पद पर नियुक्त किया। छुनयु फ़न बड़ी मेहनत से काम करता था। अपनी प्रजा को प्यार करता था और साफ़ सुथरा प्रशासन चलाता था, इसलिए स्थानीय निवासियों में उसकी अच्छी साख थी।
शीघ्र ही तीस साल बीते, छुनयु फ़न का प्रशासनिक कार्य देश भर में प्रसिद्ध हो गया और उसके भी पांच पुत्र और दो पुत्रियां जन्मीं और जीवन बड़ा सुखी चल रहा था। राजा ने कई बार उसे शाही दरबार में पदोन्नति के लिए बुलाना चाहा, लेकिन स्थानीय निवासियों ने उसे नान खअ में प्रशासन जारी रखने के लिए रोका। स्थानीय निवासियों का प्यार और समर्थन देखकर छुनयु फ़न को नान खअ में रुकना पड़ा। राजा ने उसके योगदान की प्रशस्ति में बड़ी राशि में धन दौलत दी।
फिर एक दिन शान लुओ (shàn luó) राज्य की सेना ने महा स्कोलर वृक्ष राज्य पर हमला बोला। महा स्कोलर वृक्ष राज्य की सेनापतियों को राजा की आज्ञा पर दुश्मन का मुकाबला करने भेजा गया, लेकिन उन सभी को दुश्मन सेना से हार खानी पड़ी। पराजय की खबर राजधानी तक पहुंचने के बाद राजा बहुत घबरा गया। उसने आपात तौर पर अधिकारियों की बैठक बुलाई। अपनी सेना की भारी हार और दुश्मन सेना के राजधानी के नजदीक आने की खबर सुनकर सभी मंत्रियों और अधिकारियों में मुंह का रंग उड़ गया। उनके दिमाग से कोई भी विचार नहीं सूझ रहा था।
नान खअ का सपना 南柯一梦
राजा को मंत्रियों की इस हालत पर बड़ा गुस्सा आया। उसने कहा“तुम लोग शांति के समय बड़ा आराम करते थे और दुनिया का सुख भोग कर चुके थे, लेकिन जब देश पर कहर आया, तो तुम सभी लोगों के मुंह सील से हो गए और बड़े डरपोक निकले। तुम लोगों के क्या काम आ सकते हो।”
इसी मौके पर वजीर को नान खअ के प्रशासन में असाधारण योग्यता वाले छुनयु फ़न की याद आई, तो उसने राजा से छुनयु फ़न की सिफारिश की। राजा ने तुरंत आज्ञा देकर छुनयु फ़न को राज्य सेना का सेनापति नियुक्त कर युद्ध के मोर्चे पर भेजा।
राजा की आज्ञा पाकर छुनयु फ़न फोरन सेना लेकर दुश्मनी सेना का मुकाबला करने गया। लेकिन उसे रणनीति और युद्ध कला का ज्ञान नहीं था, इसलिए दुश्मन सेना से युद्ध चलते ही उसे भारी हार झेलनी पड़ी। उसकी सेना को भारी नुकसान पहुंचा। वह भी युद्ध बंदी बनने से बाल-बाल बचा।
राजा को छुनयु फ़न से बड़ी निराशा हुई और उसने छुनयु फ़न के सभी पदों को खारिज कर दिया और उसे एक मामूली व्यक्ति के रूप में घर वापस लौटाया। अपनी जिन्दगी भर की ऊंची साख नष्ट होने पर छुनयु फ़न को असहनीय लज्जा और रोष आया। वह ऊंची आवाज़ में चीखा। इसी वजह से उसका सपना भी टूट पड़ा और वह जाग उठा।
सपने से जागने के बाद छुनयु फ़न ने अपने सपने में देखी चीजों का पता लगाने की कोशिश की, तो पाया कि उस विशाल चाइना स्कोलर वृक्ष के नीचे चीटियोंका एक बड़ा गड्डा था। उसमें चींटियों का झुंड रहता था।
“नान खअ का सपना”शीर्षक कहानी प्रकाशित होने के बाद नान खअ का सपने वाली कहावत भी चीन में मशहूर हो गयी, जो यह दर्शाता है कि जीवन निराकार होता है। समृद्धि और बल अधिकार क्षणिक होता है।