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    आपका पत्र मिला 2015-11-18
    2015-11-24 16:10:56 cri

    अनिल:आपका पत्र मिला कार्यक्रम सुनने वाले सभी श्रोताओं को अनिल पांडे का नमस्कार।

    मीनू:सभी श्रोताओं को मीनू का भी प्यार भरा नमस्कार।

    अनिलः आज के कार्यक्रम में हम श्रोताओं के ई-मेल और पत्र पढ़ेंगे। इसके बाद एक श्रोता के साथ हुई बातचीत के मुख्य अंश पेश किए जाएंगे।

    अनिल:चलिए श्रोताओं के पत्र पढ़ने का सिलसिला शुरू करते हैं। पहला पत्र हम शामिल कर रहे हैं पश्चिम बंगाल से बिधान चंद्र सान्याल का। उन्होंने लिखा है, ग्लोबल अर्थव्यवस्था में उथल-पुथल के बीच भारत दुनिया की बड़ी अर्थव्यवस्थाऑ मेँ सबसे तेज विकास दर हासिल करने वाला देश बन गया है। विश्व बैँक ने अपनी एक ताजा रिपोर्ट मेँ कहा है कि चालू वित्त वर्ष मेँ भारत की विकास दर साढ़े सात प्रतिशत रहेगी और एक साल बाद यह करीब आठ प्रतिशत पर पहुंच जाएगी। विश्व बैँक ने ' इंडिया डवलपमेँट अपडेट ' रिपोर्ट जारी करते हुए कहा कि वित्त वर्ष 2015- 16 मेँ भारत की विकास दर 7.5 प्रतिशत , 2016-17 मेँ 7.8 प्रतिशत और 2017-18 मेँ 7.9 प्रतिशत रहने का अनुमान है । अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष सहित कई वैश्विक संस्थाऑ का कहना है कि अल्पावधि मेँ वैश्विक परिस्थिति के मद्देनजर भारत की स्थिति बेहतर है । विदेशी मुद्रा भंडार भी पर्याप्त होने से भारत की स्थिति अच्छी है। सीआरआई इस तरह की रिपोर्ट जारी करेगा तो अच्छा रहेगा।

    भारत और चीन पंचशील नीति के आधार पर शांति, प्रगति और समृद्धि के अपने साझा लक्ष्यों के जरिए एक दूसरे से जुड़े हुए हैँ। साम्राज्यवाद और उपनिवेशवाद के खिलाफ दोनों देशों ने संघर्ष किया। भौगोलिक रूप से जुड़े ये देश विश्व भर में प्रगति , समृद्धि व शांति के साझा लक्ष्य के जरिए जुड़े हुए हैँ । भारत चीन के बीच आधुनिक साझेदारी आर्थिक वृद्धि , विकास के स्तंभों पर आधारित है । भारतीय जनता भी संबंधों को आगे ले जाने की इच्छा रखती है।

    मीनू:आगे विधान चंद्र सान्याल जी लिखते हैं......दुर्गापूजा के बाद बालुरघाट शहर मेँ कालीपूजा की तैयारियां शुरू हो गई हैं । बड़े-बड़े पूजा आयोजक व क्लब आकर्षक से आकर्षक पंडाल, सजावट करने की होड़ में लग गए हैं। पिछले वर्षों की तुलना मेँ और बेहतर करने की कोशिश हो रही है। शहर मेँ तमाम जगहों पर पूजा का आयोजन होता है। मगर इनमेँ से गिनती के ही कुछ ऐसे क्लब और पूजा आयोजक हैँ जो भीड़ खीँचने के लिए आकर्षक पूजा पंडाल और अच्छी सजावट करते हैं। लेकिन हमारे ऑल इंडिया सी आर आई लिस्नर्स एसोसिएशन ने सी आर आई के प्रचार की योजना की तैयारियां जोर शोर से शुरू कर दी हैं।

    अनिल:बिधान चंद्र सान्याल जी, हमें पत्र भेजने में आप इतना सक्रिय हैं, यह बहुत खुशी की बात है। हम आपको एक बार फिर धन्यवाद देना चाहते हैं। चलिए, अगला पत्र मेरे हाथ आया है उत्तराखंड से वीरेंद्र मेहता जी का। उन्होंने लिखा है......मीनू जी और अनिल जी को मेरा प्यार भरा नमस्कार। रोजाना की तरह आज भी आपका प्रोग्राम सुना। लगता है कि वीरेंद्र जी ने यह लैटर कुछ समय पहले लिखा था। वे कहते हैं कि आपको और सभी श्रोताओं को दशहरे की ढेर सारी बधाइयां। आज मैं आपको अल्मोड़ा शहर के बारे में कुछ बताना चाहता हूं। वैसे तो अल्मोड़ा को सांस्कृतिक नगरी के रूप में भी जाना जाता है। पर अल्मोड़ा शहर से कुछ ही किमी. की दूरी पर है कसार देवी बुद्ध मठ। जो कि इन दिनों इंटरनेशनल योगा सेंटर बन चुका है। यहां पर देश-विदेश से बौद्ध धर्म के अनुयायी आते हैं। वे यहां पर तीन साल, तीन महीन या तीन दिन एकांत में साधना करते हैं। यह जगह बौद्ध विद्वान लामा गोविंद की कर्मस्थली भी रहा है। अल्मोड़ा से कसार देवी की दूरी लभगग 8 किमी. है। स्वामी विवेकानंद भई अपनी हिमालय यात्रा के दौरान यहां आए थे। वैसे मैं यहां के बारे में आपको ऑडियो के रूप में भी जानकारी दे सकता हूं। इसके साथ ही मुझे चीनी गाने अच्छे लगते हैं। कोई ऐसी वेबसाइट बताएं, जहां से मैं उन्हें डाउनलोड कर सकूं। धन्यवाद। साथ ही मुझे सीआरआई इंग्लिश की वेबसाइट बहुत अच्छी लगती है। पर सीआरआई हिंदी की वेबसाइट में यह समझ नहीं आता है कि किसी स्पेशल प्रोग्राम को अगर डाउनलोड करना चाहें तो कैसे हो सकता है। कोई सुझाव बताएं। धन्यवाद।

    मीनू:वीरेंद्र मेहता जी, हमें पत्र भेजने के लिए आपका बहुत बहुत धन्यवाद। मैं आपको एक सुझाव देना चाहती हूं कि अगली बार आप सीधे हमें हिंदी या अंग्रेजी में ई-मेल भेज सकते हैं न कि अंग्रेजी अक्षरों में हिंदी लिखें, जो मेरे लिए थोड़ा मुश्किल होता है। आपको एक बार फिर धन्यवाद।

    चलिए अगला पत्र मेरे पास आया है पश्चिम बंगाल से देवाशीष गोप जी का। उन्होंने लिखा है.....नीहाओ, 1 नवम्बर को संडे की मस्ती कार्यक्रम सुना, जिसमें ऑस्ट्रेलिया के गांव के बारे में जाना, जो पूरा का पूरा भूमिगत है। यह जानकर बेहद हैरानी हुई। चीन में अंगदान से संबंधित एक ख़बर सुनकर अच्छा लगा। चीन की एक गुफा में 47 मानव दांत मिले जो बहुत ही प्राचीन समय के हैं। इसके अलावा आपके कार्यक्रम में खुश रहने के 5 उपायों के बारे में जानकर भी खुशी हुई। आपकी प्रेरक कहानी हमें प्रभावित कर देती है, और महाभारत के श्री कृष्ण की महत्वपूर्ण बातें हमें जरूर सोचने पर विवश कर देती है। गाने भी लाजवाब लगते हैं। धन्यवाद। शीए शीए।

    अनिल:देवाशीष गोप जी, हमें पत्र भेजने और हमारे कार्यक्रम की सराहना करने के लिए आपका शुक्रिया। चलिए, अगला पत्र हमें भेजा है उत्तर प्रदेश से बद्री प्रसाद वर्मा अनजान जी ने। उन्होंने लिखा है.....

    नमस्कार, नीहाओ। कई वर्षों के बाद आपने मेरे पत्र को 21 अक्तूबर 2015 को आपका पत्र मिला प्रोग्राम में शामिल किया । इसके लिए अनिल पांडे जी और मीनू जी को धन्यवाद देता हूं। आप लोग हमारे पत्रों को इसी तरह अपने प्रोग्राम में बराबर पढ़ते रहिएगा। मैं अब हर पत्र ईमेल के माध्यम से भेजता रहूंगा। मेरी कविताएं भी पढ़ा कीजिए।

    19 अक्तूबर को भाई पंकज श्रीवास्तव जी से भारत के आकाशवाणी दिल्ली के अनाउंसर उन्नी कृष्णन के साथ भेंटवार्ता सुनी, जो बेहद पसंद आई। भारत से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक भी रेडियो प्रसारण नहीं होता है। भारत इस मामले में काफी पीछे है। आज भारत के आकाशवाणी के प्रसारण निम्न स्तर के हो गए हैं। तथा श्रोताओं की संख्या भी बहुत कम हो गई है।

    पश्चिम की तीर्थयात्रा कथासागर सप्ताह भर सुनता हूं। उनकी प्रस्तुती बड़ी ही दिलचस्प होती है। तथा मन में नई जिज्ञासा जाग उठती है। 21 अक्तूबर को तीन राजकुमारों की कहानी खूब पसंद आई। क्या इस कहानी की CD हमें आप भेज सकते हैं।

    तिब्बत में हुए आम चुनाव पर प्रस्तुत रिपोर्ट भी सुनी खूब पसंद आई। चीन ने जो ब्रह्मपुत्र नदी पर नया बांध बनाया है क्या इस बांध से चीन भारत को पानी नहीं देगा। या इस बांध से चीन भारत में बाढ़ की तबाही लाएगा। इस बांध को लेकर आम भारतीयों में तरह तरह की चिंताएं व्याप्त है। समाधान कीजिए।

    22 अक्तूबर को अखिल पराशर और मीरा जी द्वारा प्रस्तुत आज का लाइफ स्टाइल प्रोग्राम, ज्ञान वर्धक, मनोरंजक तथा स्वास्थ्य वर्धक प्रोग्राम है। इस प्रोग्राम से हमें हर सप्ताह अच्छी जानकारी प्राप्त हो रही है। 22 अक्तूबर के प्रोग्राम में दशहरा पर्व तथा विजय दशमी पर्व के बारे में जानकारी अच्छी लगी।

    23 अक्तूबर को चीन का तिब्बत प्रोग्राम में कुम्पो तीर गीत के इतिहास के बारे में जानकारी ज्ञानवर्धक लगी। तथा तिब्बती गायिका के साथ भेंटवार्ता भी खूब पसंद आई।

    25 अक्तूबर को प्रस्तुत संडे की मस्ती प्रोग्राम सुना। आज के प्रोग्राम में 190 कन्फ्यूशियस व्यंजनों के बारे में जानकारी बहुत अच्छी लगी।

    तथा कोलकाता के अनोखे व्यंजन के बारे में जानकारी भी बहुत अच्छी लगी। इन व्यंजनों के बारे में जानकारी पा कर मुंह में पानी भर आया।

    पूर्वी उत्तर प्रदेश की प्रसिद्ध चौरी चौरा क्षेत्र की जागना देवी नरकुलवा मां के बारे में दी गयी जानकारी शानदार लगी। इस देवी की स्थापना बंधू सिंह ने की थी।

    मगर आज इस मंदिर पर चोर उचक्कों का जमावड़ा होता है जो महिलाओं के गले से सोने की चेन/पर्स मोबाइल फोन/रुपये / रोज चोरी हो रहे हैं। पुलिस प्रशासन-निष्क्रिय है। इस कारण यहां भक्त अब कम ही आते हैं। यहां पर लिट्टी मीट बना कर खाने की परंपरा आज तक जारी है। मेरी तो नरकुलवा देवी पर आस्था नहीं है। क्योंकि देवी पापियों, चोर उचक्कों को सजा देने में नाकाम है।

    मीनू:बद्री प्रसाद वर्मा अनजान जी, हमें पत्र भेजने के लिए हम आपको धन्यवाद देना चाहते हैं। आशा करते हैं कि भविष्य में आप हमें यू ही ई-मेल भेजते रहेंगे। धन्यवाद। चलिए, आगे पेश है मध्य प्रदेश से राम लाल चंद्रवंशी का पत्र। उन्होंने लिखा है......आपको दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं। सीआरआई हिंदी सेवा के सभी प्रोग्राम रोचक और ज्ञानवर्धक लगते हैं। संडे की मस्ती, आपकी पसंद और आपका पत्र मिला मेरे पसंदीदा प्रोग्राम हैं। 4 नवंबर को आपने मेरा इमेल शामिल किया। इस तरह मैं खुशी से झूम उठा। श्याम मेहर से की गई बातचीत भी मुझे बहुत पसंद आई।

    वहीं हमारी वेबसाइट पर कुछ लिस्नर्स ने मैसेज भी लिखे हैं। राजस्थान से राजेश कुमार मेहरा कहते हैं....7 नवंबर 2015 का प्रोग्राम में एक ऐसी मशीन के बारे में बताया गया। जो शरीर में कुछ असामान्य होने पर तुरंत को बता देगी। बहुत ही रोचक जानकारी लगी।

    अनिल:दोस्तो, कुछ दिन पहले हमारे फेसबुक पेज पर चीन की 13वीं पंचवर्षीय योजना के बारे में मितुल कंसल ने कुछ लिखा। उन्होंने कहा..चीन सरकार तमाम नई नीतियां बना रही हैं। सरकार को नई पंचवर्षीय योजना में बेरोजगारों को रोजगार के नए अवसर प्रदान करने की कोशिश करनी चाहिए! इसके अलावा श्रीपाल गर्ग ने भी मैसेज लिखा है। वे कहते हैं कि चीन की तेरहवीं पंचवर्षीय योजना पहले की तुलना में ग्रोथ ओरियंटेड होनी चाहिए। साथ ही चीन आने वाले समय में अमेरिका को पीछे छोड़ देगा।

    मीनू:अंत में लीजिए पेश है, पश्चिम बंगाल से रवि शंकर बसु का ईमेल। उन्होंने चीन की 13वीं पंचवर्षीय योजना-पर एक लेख भेजा है।

    कहते हैं कि मैंने एकाग्रता के साथ आपकी वेबसाइट पर चीन की 13वीं पंचवर्षीय योजना संबंधी सभी लेख पढ़े हैं। शायद चीन की घरेलू नीति के पीछे सबसे महत्वपूर्ण मार्गदर्शक चीज़ पांच साल की योजना के रूप में आती है।वर्ष 1953 में चीन में पंचवर्षीय योजना को अपनाया गया था। यह सामाजिक, आर्थिक और पर्यावरणीय प्राथमिकताओं का मार्गदर्शन है। हाल ही में संपन्न चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की 18 वीं सीपीसी केंद्रीय समिति की चार दिवसीय पांचवें पूर्ण सत्र में चीन के राष्ट्रीय विकास की 13 वीं पंचवर्षीय योजना में वर्ष 2016 से वर्ष 2020 तक आर्थिक और सामाजिक विकास के लिए प्रस्तावों को अपनाया गया है। 13वीं पंचवर्षीय योजना का काल चीन में खुशहाल समाज के निर्माण करने के लिए महत्वपूर्ण है। इसमें चीन की कम्युनिस्ट पार्टी का अगले पांच साल के लिए ताज़ा आर्थिक नीति पर प्रकाश डाला है ,जिसमे चीन में सुधार, सृजन, खुलेपन, नवीनीकरण (innovation), जलवायु संरक्षण, हरित विकास, समन्वय साथ ही सरकार और बाज़ार की अच्छी तरह व्यवस्था और दशकों के लंबे एक बच्चे की नीति को छोड़ देने का फैसला किया है। नई पंचवर्षीय योजना चीन की पहली शताब्दी की लक्ष्य (Centenary Goal) तक पहुंचने के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि वर्ष 2020 तक शहरी और ग्रामीण लोगों की आय दोगुना करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। शताब्दी लक्ष्य 1921 में चीन की कम्युनिस्ट पार्टी(सीपीसी) की स्थापना की 100 वीं वर्षगांठ के जश्न में है।चीनी राष्ट्राध्यक्ष शी चिनफिंग ने कहा कि वर्तमान समय में चीन में विकास और सुधार घनिष्ठ रूप से जुड़ा है। विकास के लिए सुधार की जरूरत है।सुधार पर निर्भर रहकर विकास को शीर्ष प्राथमिकता दी जाएगी। यह जानकर मैं बहुत खुश हुआ कि चीन के शीर्ष नेताओं ने 13 वीं पंचवर्षीय योजना के गठन में चीन की राष्ट्रीय विकास के लिए नई आर्थिक और सामाजिक विकास के लक्ष्यों को अपनाया है। चीन ने अगले 5 वर्षों में गरीबी उन्मूलन के साथ एक समृद्ध समाज के निर्माण को पूरा करने की अपनी प्रतिज्ञा को व्यक्त किया है।

    अनिल:आगे बसु जी लिखते हैं.....पिछले 29 अक्टूबर को शी चिनफिंग की अध्यक्षता में 18 वीं सीपीसी केंद्रीय समिति की पांचवें पूर्ण सत्र में 13वीं पंचवर्षीय योजना (2016-2020) के सूत्रीकरण को अपनाया गया और 3 नवम्बर को "राष्ट्रीय आर्थिक और सामाजिक विकास की 13वीं वर्षीय योजना से जुड़े सीपीसी केंद्रीय समिति का सुझाव" पारित हुआ। जानकारी मिला है कि 13वीं पंचवर्षीय योजना के दौरान चीन में सर्वांगीर्ण खुशहाल समाज के निर्माण का निर्णायक चरण होगा। इस दौरान चीन आर्थिक विकास की मध्य व उच्च गति बनाए रखेगा। वर्ष 2020 तक चीन में सकल घरेलू उत्पाद यानी जीडीपी और शहरी व ग्रामीण लोगों की आय दोनों वर्ष 2010 की तुलना में दोगुना होगा।13वीं पंचवर्षीय योजना के 10 लक्ष्यों में गरीबी उन्मूलन और आजीविका में सुधार को सूचीबद्ध किया गया है।पिछले पांच सालों में चीन गरीबी उन्मूलन में उल्लेखनीय प्रगति की है। चीन तेज प्रगति ने गरीबी उन्मूलन के मामले में दुनिया के बाकी देशों को पछाड़ दिया है। 13वीं पंचवर्षीय योजना चीन में खुशहाल समाज की स्थापना के लिए काफी अहम है।चीन सरकार अमीरों व गरीबों के बीच खाई को कम करने के लिए काफ़ी कोशिश करती आई है और 13वीं पंचवर्षीय योजना के दौरान गरीब लोगों के जीवन को सुधारने पर और ज्यादा जोर देगी। यहां पर मैं चीनी राजकीय सांख्यिकी ब्यूरो के एक आंकड़े को बताना चाहता हूं ,जिसके अनुसार, वर्ष 2013-14 में चीन ने अलग अलग तौर पर 1 करोड़ 65 लाख और 1 करोड़ 23 लाख 20 हजार गरीब जनसंख्या घटायी। वर्ष 2015 में चीन सरकार ने अपनी कार्य रिपोर्ट में ग्रामीण क्षेत्रों में फिर 1 करोड़ गरीब जनसंख्या को कम करने का लक्ष्य लिया है । चीनी राष्ट्राध्यक्ष शी चिनफिंग ने पिछले 16 अक्टूबर,2015 को पेइचिंग जन बृहद भवन में आयोजित वर्ष 2015 गरीबी उन्मूलन और विकास वरिष्ठ मंच में कहा कि गरीबी उन्मूलन मानव का समान कार्य है। चीन सरकार अपनी गरीबी दूर करने की कोशिशों के साथ साथ दुनिया की सबसे पिछड़े देशों को गरीबी उन्मूलन में मदद करने के लिए कई कदम उठाएगी।शी चिनफिंग की यह बातें वाकई प्रशंसनीय है ।

    हम दो–हमारे दो, आदर्श परिवार की परिभाषा है। यानी पति-पत्नी और दो बच्चे। यह जानकर खुशी हुई कि चीन में अब एक दंपति दूसरा बच्चा पैदा कर सकता है।13वीं पंचवर्षीय योजना जनता के कल्याण और सामाजिक प्रगति पर ज्यादा ध्यान दिया है। 29 अक्तूबर को चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की 18वीं केंद्रीय कमेटी का पांचवें पुर्णाधिवेशन में 13वीं पंचवर्षीय योजना के अनुसार चीन सरकार ने अपनी दशकों पुरानी "एक बच्चा पैदा करने" नीति को वापस लेते हुए अब चीन के सभी दंपतियों को दो बच्चे पैदा करने की अनुमति दे दी है क्योंकि चीन की जनसंख्या तेज़ी से बूढ़ी होती जा रही है।

    मीनू:परिवार नियोजन नीति के अंतर्गत अधिकतर शहरी दंपतियों को एक बच्चे और ग्रामीण दंपतियों को दो बच्चे रखने की अनुमति थी। कुछ विशेष स्थितियों में एक दंपति दूसरा बच्चा पैदा कर सकता है ,जैसे पति और पत्नी दोनों अपने परिजनों की इकलौती संतान हों, तब उनके दो बच्चे हो सकते हैं। चीन के ग्रामीण क्षेत्रो में आमतौर पर एक दंपति के दो बच्चे होते हैं। अल्पसंख्यक जाति के लोग देश की परिवार नियोजन नीति में शामिल नहीं हैं।चीन दुनिया की सर्वाधिक आबादी वाला देश है जहां 1.3 अरब से अधिक जनसंख्या है। चीनी राष्ट्रीय जनसंख्या और परिवार नियोजन आयोग के डेटा के अनुसार चीन की वर्तमान प्रजनन दर 1.5 है जो चीन देश की मौजूदा जनसंख्या संरचना को बनाए रखने के लिए यह बहुत कम है। चीनी राष्ट्रीय परिवार नियोजन कमेटी के उप प्रधान वांग पेइआन ने पिछले 30 अक्तूबर को कहा कि वर्तमान में चीनी जनसंख्या में संरचनात्मक सवाल उभरते हुए कुल जनसंख्या की वृद्धि धीमी रही है। चीन में एक दंपत्ति को दो बच्चे पैदा करने वाली नीति लागू होने से वर्ष 2030 तक चीन की जनसंख्या 1.45 अरब तक पहुंचेगी। एक परिवार में दो बच्चों की नीति लागू करने से चीनी जनसंख्या बढ़ेगी। सच यह है कि समाज की प्रगति आर्थिक विकास से मेल खाना चाहिए। आबादी के संतुलन को बरकरार रखना अनवरत विकास के लिए लाभदायक है।13वीं पंचवर्षीय योजना में एक दंपति दो बच्चे पैदा करने की नीति एक ऐसा क़दम है जो सामाजिक प्रगति को बढ़ाने में मददगार साबित होगा।

    धन्यवाद बसु जी, हमें इतना लंबा पत्र भेजने के लिए।

    मीनू:दोस्तो, आप जानते हैं कि हमारे मोनिटर सुरेश अग्रवाल जी 13 से 18 नवंबर तक सीआरआई के निमंत्रण पर चीन की यात्रा कर रहे हैं। 17 नवंबर को हमने उनके साथ बातचीत की। आईए, सुनते हैं चीन यात्रा के बारे में उनका क्या अनुभव है।

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