इस बार क्वो लुफिंग रिश्तेदारों से मिलने के लिये छुट्टी लेकर चीन में वापस लौटी। पर अस्पताल में जांच के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती होना पड़ा। नानछांग शहर के नंबर तीन अस्पताल के स्तन कैंसर विभाग के अध्यक्ष श्योंग छोयून ने कहा,क्वो लुफिंग जनवरी के अंत में हमारे अस्पताल में जांच के लिये आईं। जांच के बाद पता लगा कि उनके बायें स्तन में एक ट्यूमर है। लेकिन इलाज कराने में देरी हो चुकी है। यानी इलाज का सबसे अच्छा समय बीत चुका है।
इसके बाद दो महीने में क्वो लुफिंग का आपरेशन किया गया। कीमोथेरपी आदि भी होती रही। अल्पकालिक छुट्टी अचानक लंबा इलाज बन गयी। आपरेशन के बाद कुछ ही दिनों में क्वो लुफिंग ने उनके प्रमुख डॉक्टर श्योंग छोयून से अस्पताल छोड़ने का आग्रह किया। हालांकि वहां के डॉक्टर को यह समझ नहीं आया। उन्होंने कहा,मैंने क्वो लुफिंग से पूछा कि पूरा इलाज क्यों नहीं करवाना चाहती? उन्होंने जवाब दिया कि उन्होंने ट्यूनीशिया वापस लौटने का टिकट खरीद लिया है। वहां उनके बहुत काम हैं। मैंने कहा कि वहां जाकर आपका इलाज अच्छी तरह से नहीं किया जा सकता, जैसे कीमोथेरपी। पर उन्होंने दवा लेकर वहां अपने आप इलाज करने पर जोर दिया।
क्वो लुफिंग विदेशों में सहायता देने के लिये चीन द्वारा भेजे गये बहुत चिकित्सकों में से एक हैं। उनके दिल में अंतर्राष्ट्रीय मानवता वाली भावना है। अपने काम की चर्चा में क्वो लुफिंग ने कहा कि,मानव का जीवन सीमित होता है। पर आध्यात्मिक धन ज्यादा सार्थक है। दसेक वर्षों में मेरी सभी कोशिश मेडिकल काम में लगी हुई है। क्योंकि डॉक्टर को ऐसा होना चाहिये। मुझे इस पर पछतावा नहीं है। मुझे बहुत खुशी है कि मैं रोगियों का इलाज कर सकती हूं।