Web  hindi.cri.cn
    बर्फीले पठार के प्रति एक जनरल का असीम प्यार
    2014-04-05 20:21:59 cri

    10 जुलाई वर्ष 2013 को चीनी जन सशस्त्र पुलिस की तिब्बत स्वायत्त प्रदेश शाखा के पूर्व कमांडर मेजर जनरल क्वो ईली का निधन हृदय रोग से हुआ। 56 वर्ष की उम्र में उनका निधन हुआ, उन्होंने जीवन के 38 वर्ष तिब्बत स्वायत्त प्रदेश के बर्फील पठार में बिताए। क्वो ईली के देहांत की खबर मिलने के बाद तिब्बत स्वायत्त प्रदेश के बेशुमार तिब्बती लोगों ने घी-दीपक जलाकर साष्टांग प्रणाम किया और तिब्बती जाति के सर्वोच्च शिष्टाचार से इस बर्फीले पठारीय जनरल को श्रद्धांजलि अर्पित की।

    25 अक्तूबर, वर्ष 2011 को तिब्बत स्वायत्त प्रदेश की राजधानी ल्हासा की लीनचो कांउटी के प्यानलीन जिले के खायो गांव में चीनी जन सशस्त्र पुलिस की तिब्बत शाखा की सहायता में खायो गांव क्लिनिक का उद्घाटन समारोह आयोजित किया गया, इस क्लिनिक की स्थापना जनरल क्वो ईली के आह्वान पर ही की गई थी। इसकी स्थापना के बाद खायो गांव के आसपास 9 प्राकृतिक गांवों के गांववासियों को चिकित्सा सुविधा मिल सकती है।

    वर्ष 2009 में जनरल क्वो ईली सश्सत्र पुलिस की तिब्बत स्वायत्त प्रदेश शाखा के अधीन जनरल अस्पताल का निरीक्षण दौरा किया, इसी दौरान उन्होंने एक तिब्बती पुरुष को अस्पताल के चिकित्सा क्लिनिक के बाहर भीषण दर्द के कारण बैठते देखा। क्वो ईली ने जब इस पुरुष से बात की तब उन्हें मालूम हुआ कि निमा वांगत्वे नाम का यह तिब्बती पुरुष इंटस्टाईनल ईंन्फार्कशन ( आंत्र रोधगलन) से पीड़ित है और वह सौ से अधिक किलोमीटर की यात्रा के बाद अस्पताल पहुंचा है। लेकिन अस्पताल में इलाज के लिये एक भी बिस्तर खाली नहीं है। क्वो ईली ने इस स्थिति को देखने के तुरंत बाद संबंधित समन्वय काम किया और शीघ्र ही अस्पताल में एक अस्थाई बिस्तर तिब्बती रोगी निमा वांगत्वे को मिला। जल्दी ही अस्पताल में ही उसका इलाज किया गया।

    उस समय का दृश्य तिब्बती पुरुष निमा वांगत्वे के मस्तिष्क में आज भी ताज़ा है। इलाज के बाद निमा कमांडर क्वो ईली के प्रति बहुत आभारी है। कमांडर के निधन की खबर सुनने के बाद वो बहुत दुखी हुआ। निमा वांगत्वे ने कहा:"वर्ष 2009 में मैं आकस्मिक इंटस्टाईनल ईंन्फार्कशन से पीड़ित था और स्थानीय कांउटी अस्पताल गया। लेकिन कांउटी अस्पातल ने मुझ से ल्हासा स्थित बड़े अस्पताल जाने का सुझाव दिया। तो मैं ल्हासा स्थित जन अस्पताल गया। लेकिन वहां कोई खाली बिस्तर नहीं था। फिर मैं सशस्त्र पुलिस के अधीन वाले अस्पताल गया और संयोग से कमांडर क्वो से मिला। उन्होंने मुझसे अस्पताल में रहकर विस्तृत इलाज करने का सुझाव दिया। लेकिन मेरी आर्थिक स्थिति खराब थी। इसे जानकर कमांडर क्वो ने अस्पताल से मुझे 8 हज़ार युआन की इलाज फ़ीस कम करने को कहा। बाद में कमांडर क्वो ने हमारे गांव में चिकित्सीय स्थिति जानकर गांव वासियों के लिये चिकित्सा सुविधा और यहां एक क्लिनिक स्थापित करने का फैसला कर लिया। कमांडर क्वो के निधन की खबर सुनने के बाद हमारे गांव के सभी लोग बहुत दुखी हुए।"

    1 2
    © China Radio International.CRI. All Rights Reserved.
    16A Shijingshan Road, Beijing, China. 100040