एक पट्टी एक मार्ग अंतर्राष्ट्रीय सहयोग शिखर मंच पेइचिंग में आयोजित होगा। इस बार मंच आयोजित करने की पृष्ठभूमि यह है कि वैश्वीकरण की प्रक्रिया व्यापार संरक्षण की बाधाओं में धीमी गति से चल रही है। इसलिये अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को चीन से बड़ी उम्मीदें हैं। चीन स्थित श्रीलंकाई राजदूत करुणसेना कोदिटुवाक्कु ने 9 मई को सीआरआई को विशेष इन्टरव्यू देते हुए कहा कि एक पट्टी एक मार्ग का सुझाव नयी वैश्वीकरण प्रक्रिया को मजबूत करने का इंजन बनेगा।
परंपरागत व्यवस्था में विकासशील देश विकसित देशों पर निर्भर हैं। जिससे दोनों के बीच अंतर दिन-ब-दिन बढ़ रहा है। विकासशील देशों की कमज़ोरी यह है कि बुनियादी सुविधाएं व अत्पादन क्षमता में वे पिछड़े हैं। कोदिटुवाक्कु के ख्याल से एक विकासशील देश के रूप में चीन ने उचित समय पर एक पट्टी एक मार्ग का सुझाव पेश किया। विभिन्न देशों के प्रति, खास तौर पर विकासशील देशों के प्रति यह एक बहुत अच्छा प्रस्ताव व अच्छा मौका होगा।
चंद्रिमा