भारतीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने 28 फरवरी को संसद में इस साल का बजट पेश किया। बजट में व्यापक निवेश योजना का ऐलान नहीं किया गया, लेकिन ज़ाहिर है कि भारत सरकार बुनियादी संस्थापनों के निर्माण और कारोबारी माहौल के सुधार पर ज़ोर देगी।
बजट में बुनियादी संस्थापनों के निर्माण क्षेत्र में 7 खरब रूपए से अधिक की पूंजी लगाएगी, इसमें 2.5 खरब रूपए ग्रामीण इंफ्रास्ट्रक्चर फंड के लिए होंगे, जबकि मार्ग व रेलवे निर्माण को भी अधिक मदद दी जाएगी।
जेटली ने कहा कि आगामी 4 साल में भारत सरकार कॉर्पोरेट कर 30 प्रतिशत से 25 प्रतिशत तक घटाएगी, साथ ही धातु सामग्री, केबल आदि के सीमा शुल्क और उत्पाद शुल्क को भी कम करेगी। इसके अलावा बजट में आगामी 3 साल में वित्तीय घाटा जीडीपी के 3 प्रतिशत तक कम करने की बात भी कही गई।
वित्तीय सब्सिडी नीति के बारे में जेटली ने कहा कि गरीब लोगों को सब्सिडी नीति से लाभ मिलना चाहिए, मध्य वर्ग और अमीर लोगों को नहीं। भारत सरकार सब्सिडी नीति में बड़ा समायोजन नहीं करेगी।
लोकसभा और राज्य सभा इस बजट की विवेचना करेगी। पारित होने पर 1 अप्रैल से लागू इसे लागू किया जाएगा।
(दिनेश)