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चाओ एन लाई , 1949-1958 तक चीनी विदेश मंत्री रहे ।
चाओ एन लाई महान सर्वहारा वर्ग के क्रांतिकारी, राजनीतिज्ञ, सैन्यविद्य और राजनयिक थे। वे चीनी कम्युनिस्ट पार्टी और चीन लोक गणराज्य के प्रमुख नेताओं में से एक थे, चीनी जन मुक्ति सेना के संस्थापकों में से एक थे। चाओ एन लाई चीन के च च्यांग प्रांत के शाओ शिंग के निवासी थे। वर्ष 1898 के पांच मार्च को उन का जन्म च्यांग सू प्रांत के ह्वेई एन शहर में हुआ। वर्ष 1976 के जनवरी में उन का देहांत पेइचिंग में हुआ।
चाओ एन लाई ने चीन के अनेक महत्वपूर्ण विदेश नीतियां बनाने के काम में भाग लिया और खुद उन का कार्यान्वय किया था । वर्ष 1954 में उन्होंने जेनेवा सम्मेलन में भाग लिया। इस सम्मेलन ने हिन्दुचीन समस्या का हल किया और वियतनाम ( इस के दक्षिणी भाग को छोड़कर ), लाओस औऱ कम्बोडिया की स्वतंत्रता को अंतरराष्ट्रीय मान्यता प्राप्त की गयी। श्री चाओ एन लाई ने चीन का प्रतिनिधित्व करके शांतिपूर्ण सहअस्तित्व के पांच सिद्धांक प्रवर्तित किये और इसे देशों के बीच संबंधों के निपटारे का मापदंड बनाया गया है । वर्ष 1955 के एशिया व अफ्रीका के 29 देशों द्वारा इंडोनेशिया के बांगदुंग सम्मेलन में श्री चाओ एन लाई ने शांतिपूर्ण सहअस्तित्व , उपनिवेशवाद विरोध , मतभेद को अलग रख कर समानताओं की खोज और सलाह मश्विरा का सिद्धांत पेश किया। उन्होंने क्रमशः युरोप, एशिया, और अफ्रीका के दसियों देशों की यात्राएं की थीं और दुनिया के विभिन्न देशों से आये नेताओं व मैत्री व्यक्तियों का स्वागत सत्कार किया । श्री चाओ एन लाई ने चीनी जनता और विश्व जनता के बीच मैत्री को मजबूत करने के लिए योगदान किया था।
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